Mahashivratri 2021 Live: महाशिवरात्रि आज, शिव मंदिरों में लगा भक्तों का तांता, यहां जानें लेटेस्ट अपडेट

Mahashivratri Puja Vidhi Shubh Muhurat LIVE Updates: महाशिवरात्रि का पर्व आज यानी 11 मार्च 2021 को है. सुबह से ही जलाभिषेक का कार्यक्रम शुरू हो गया है. शिवालयों में त्रयोदशी का जलाभिषेक सुबह 4.01 बजे शुरू होकर पूरा दिन चलेगा.

एबीपी न्यूज़ Last Updated: 11 Mar 2021 02:37 PM
महाशिवरात्रि के इस पावन अवसर पर यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी देशवासियों को बधाई दी. उन्होंने ट्वीट कर लिखा है, “ भगवान भोलेनाथ की पावन अराधना को समर्पित ‘महाशिवरात्रि’ के पर्व की सभी भक्तों एवं प्रदेशवासियों को अनंत शुभकमानाएं देवाधिदेव महादेव की कृपा से सभी प्राणियों के जीवन में सुख, समृद्धि, शांति और सद्भाव का वास हो. समस्त जगत का कल्याण हो. ‘हर हर महादेव’.”

महाशिवरात्रि की धूम देश नहीं बल्कि विदेशों में भी है. श्रीलंका में भारतीय राजदूत गोपाल बागले ने शिवरात्रि के मौके पर केथेश्वरम मंदिर के दर्शन किए और वहां भगवान शिव की पूजा की. इसकी जानकारी कोलंबो में स्थित भारतीय उच्चायोग ने दी.
महाशिवरात्रि के मौके पर जम्मू और कश्मीर में श्रद्धालुओं ने भगवान शिव की पूजा-अर्चना की. श्रीनगर के शंकराचार्य मंदिर में श्रद्धालुओं ने पूजा और हवन का आयोजन किया. वहीं मध्यप्रदेश के उज्जैन में महाकाल मंदिर में पुजारियों ने भगवान शिव का जलाभिषेक कर उनकी पूजा की.
महाशिवरात्रि के मौके पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों को बधाई दी. साथ ही देशभर में लोगों के कल्याण की मंगल कामना भी की. बतादें कि शिव मंदिरों में सुबह से ही भक्तों का तांता लगा हुआ है.
महाराष्ट्र में महाशिवरात्रि पर कोरोना वायरस महामारी के चलते राज्य सरकार ने नासिक के त्र्यंबकेश्वर मंदिर और मुंबई के बाबुलनाथ मंदिर को श्रद्धालुओं के लिए बंद रखने का फैसला किया है.
महाशिवरात्रि पर गोरखपुर में शिवभक्तों ने झारखंडी महादेव मंदिर के दर्शन किए और भगवान शिव की पूजा-अर्चना की. वहीं महाशिवरात्रि पर महादेव की नगरी काशी में श्रद्धालुओं का जमघट लगा हुआ है. बुधवार की देर शाम से ही काशी विश्वनाथ के दर्शन करने के लिए भक्तों का तांता लगा हुआ है. शिवालयों के कपाट मंगल आरती के बाद खुले तो दर्शन करने वालों की भारी भीड़ उमड़ आई.
महाशिवरात्रि के पहले शाही स्नान पर जूना अग्नि आवाहन और किन्नर अखाड़ा के साधु-संतों पर हेलीकॉप्टर के माध्यम से फूलों की वर्षा की गई. धर्मनगरी हरिद्वार में पहले शाही स्नान का आज नजारा अलग ही देखने को मिल रहा है. हजारों की संख्या में नागा सन्यासी अखाड़ों के महामंडलेश्वर आचार्य महामंडलेश्वर शाही रूप से गंगा में स्नान करने जा रहे हैं. लाखों की संख्या में धर्म नगरी पहुंचकर श्रद्धालु साधु संतों का ले रहे आशीर्वाद ले रहे हैं.

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Mahashivratri Jalabhishek 2021: आज यानी 11 मार्च 2021 को देश भर में महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जा रहा है. हिन्दू पंचांग के अनुसार, हर साल फाल्गुन मास के कृष्णपक्ष की चतुर्दशी तिथि को महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है. इस वर्ष महाशिवरात्रि पर विशेष योग बन रहा है. इस दिन शिव योग के साथ  सिद्ध योग भी बन रहा है. ऐसी मान्यता है कि इस दिन जलाभिषेक करने से शिव भक्तों पर शिव भगवान की कृपा बरसेगी. उनकी कृपा से शिव भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती है.

इस बार महाशिवरात्रि पर त्रयोदशी और चतुर्दशी तिथियां पड़ रही हैं. इस लिए जलाभिषेक का महत्त्व और भी बढ़ गया है. हिंदू धर्मशास्त्रों के अनुसार, महाशिवरात्रि पर्व पर त्रयोदशी व चतुर्दशी में जलाभिषेक का विधान बताया गया है. त्रयोदशी तिथि 10 मार्च को दोपहर बाद 2.40 मिनट से शुरू हो रही है और यह 11 मार्च को 2.40 बजे त्रयोदशी समाप्त होगी उसके बाद तुरंत बाद चतुर्दशी प्रारंभ हो जाएगी.




शिवालयों में त्रयोदशी का जलाभिषेक 11 मार्च को सुबह 4.01 बजे से शुरू होकर पूरे दिन चलता रहेगा. वहीं चतुर्दशी का जलाभिषेक इसी दिन अर्थात 11 मार्च को अपराह्न तीन बजे से शुरू होकर शाम तक चलेगा. महाशिवरात्रि का निशीथ काल, जो कि इस दिन का सर्वोत्तम समय होता है, 11 मार्च को रात 12 बजकर 6 मिनट से 12 बजकर 55 मिनट तक रहेगा. चूंकि महाशिवरात्रि का पर्व रात्रि में मनाया जाने वाला पर्व है. इस लिए महाशिवरात्रि का पूजन चारों पहर करने का विशेष महत्त्व है.




महाशिवरात्रि के पर्व पर भगवान शिव की पूजा में दूध का विशेष महत्त्व है. दूध में गाय के दूध का विशेष महत्व है. क्योंकि गाय का दूध सबसे अधिक पवित्र और उत्तम माना गया है. ऐसी मान्यता है कि जल में थोड़ा सा दूध मिलाकर स्नान करने से मानसिक तनाव दूर होता है और चिताएं कम होती हैं. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जल में थोड़ा दूध मिलाकर जलाभिषेक करने से या शिवलिंग पर दूध चढ़ाने से सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं. शिव भक्तों पर भगवान शिव की कृपा बरसती है.

हिंदू शास्त्रों के अनुसार, महाशिवरात्रि के दिन महादेव की पूजा करते समय बिल्वपत्र, शहद, दूध, दही, शक्कर और गंगाजल से जलाभिषेक करना चाहिए. माना जाता है कि ऐसा करने से भगवान शिव की कृपा हमेशा बनी रहती है. इससे शिवभक्त को कभी किसी समस्या का सामना नहीं करना पड़ता.


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