Mahashivratri 2024: शरीर पर बनवाए हैं शिव के ऊँ, डमरू या त्रिशूल जैसे पवित्र प्रतीक तो जान लें नियम, वरना भारी पड़ सकती है टैटू भक्ति
Mahashivratri 2024: भगवान के प्रति आस्था रखने के कई तरीके हैं. इन्हीं में एक है शरीर पर धार्मिक टैटू बनवाना, जोकि आजकल काफी चलन में है. लेकिन शरीर पर धार्मिक टैटू बनवाते हैं तो इन नियमों को जान लें.
![Mahashivratri 2024: शरीर पर बनवाए हैं शिव के ऊँ, डमरू या त्रिशूल जैसे पवित्र प्रतीक तो जान लें नियम, वरना भारी पड़ सकती है टैटू भक्ति Mahashivratri 2024 lord shiva trishul damru om and rules for making religious symbol tattoo on the body Mahashivratri 2024: शरीर पर बनवाए हैं शिव के ऊँ, डमरू या त्रिशूल जैसे पवित्र प्रतीक तो जान लें नियम, वरना भारी पड़ सकती है टैटू भक्ति](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/03/08/2409cba6229d2cb8afff0e64b92cae8a1709902809854466_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Mahashivratri 2024, Tattoo Astrology: ईश्वर के प्रति भक्तों की गहरी आस्था और श्रद्धा होती है. इस आस्था और श्रद्धा को बनाए रखने को तरीका भी अलग-अलग होता है. कुछ लोग हाथों में माला लेकर मंत्रों का जाप करते हैं, कुछ गले में माला या लॉकेट धारण करते हैं तो कुछ तिलक लगाते हैं.
भगवान शिव के प्रति भी भक्तों की गहरी आस्था है. इसलिए लोग भगवान शिव के प्रतीकों जैसे डमरू, ऊं, त्रिशूल आदि जैसे पवित्र चिह्नों का अपने शरीर पर टैटू बनवाते हैं. आप इसे भक्ति और आस्था के साथ ही फैशन, स्टाइल या आकर्षण दिखने-दिखाने का तरीका भी कह सकते हैं. वैसे आजकल धार्मिक टैटू का चलन काफी बढ़ गया है. खासकर युवा वर्ग के बीच टैटू बनवाने का क्रेज अधिक देखने को मिलता है.
आप आस्था या भक्ति के लिए शरीर पर टैटू बनवाएं चाहे आकर्षण दिखने के लिए, लेकिन विशेषकर धार्मिक टैटू बनवाते समय कुछ बातों का ध्यान जरूर रखें. धार्मिक टैटू से जुड़े इन नियमों का पालन न करना आपको भारी पड़ सकता है और इसका असर आपके मन, मस्तिष्क और जीवन पर पड़ सकता है. इसलिए जान लीजिए कि धार्मिक प्रतीक या चिह्नों वाले टैटू शरीर पर बनवाते समय किन बातों का रखें ध्यान.
सही होनी चाहिए आकृति
जब भी आप शिवजी के प्रतीक से जुड़ी आकृति वाली टैटू जैसे शिवलिंग, त्रिशूल, ओम, डमरू, मंत्र आदि का टैटू शरीर पर बनवाए तो यह ध्यान रखें कि इसकी आकृति सही होनी चाहिए. आकृति के अलावा यदि आप शिवजी के किसी मंत्र का टैटू बनवाएं तो मंत्र भी सही होने चाहिए. क्योंकि गलत आकृति या गलत मंत्र का टैटू बनवाने से नकारात्मकता बढ़ती है और इसका बुरा असर आपके जीवन पर पड़ता है.
इन बातों का रखें ध्यान
शरीर पर धार्मिक टैटू बनवाते समय इस बात का ध्यान रखें कि, टैटू ऐसी जगह बनवानी चहिए जहां गंदगी या जूठन धार्मिक चिह्न पर न लगे. जैसे आपको हथेली में धार्मिक टैटू बनवाने से बचना चाहिए. क्योंकि हथेली गंदी होती है. भोजन करते समय या किसी वस्तु का लेन-देन करते समय यह टैटू से स्पर्श हो सकती है. ऐसे में धार्मिक चिह्न की पवित्रता भंग हो सकती है. साथ ही पांव में भी धार्मिक चिह्न वाले टैटू न बनवाएं. ऐसा करना अपमान माना जाता है. इसलिए इस बात का ध्यान रखें धार्मिक टैटू शरीर के ऐसे हिस्से में बनवाएं जहां गंदगी, जूठन या अशुद्ध चीजें टैटू से स्पर्श न हो.
धार्मिक टैटू के लाभ
अगर आप शरीर के सही हिस्से और सही तरीके से धार्मिक टैटू बनवाते हैं तो आपको इसका लाभ भी मिलेगा. क्योंकि धार्मिक टैटू बनवाना अच्छा माना जाता है. मान्यता है कि इससे कॉन्फिडेंस लेवल बढ़ता है, जीवन में सकारात्मकता आती है और काम में सफलता मिलती है. बता दें कि धार्मिक चिह्न वाले टैटू बनवाने के लिए हाथ, कमर, पीठ, गर्दन और कान के पास आदि जैसे हिस्से सही माने जाते हैं.
Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)