Paush Amavasya 2021: पौष माह की अमावस्या कब है? पितरों को प्रसन्न करने के लिए इस दिन जरूर करें ये काम
Paush Amavasya 2021: हिंदू धर्म में हर माह पड़ने वाली अमावस्या का विशेष महत्व है. अमावस्या तिथि पितरों को समर्पित होती है. हर माह कृष्ण पक्ष में पड़ने वाली अमावस्या का विशेष महत्व है.
Paush Amavasya 2021: हिंदू धर्म (Hindu Dharam) में हर माह पड़ने वाली अमावस्या (Amavasya 2021) का विशेष महत्व है. कहते हैं कि अमावस्या तिथि पितरों को समर्पित होती है. हर माह कृष्ण पक्ष (Krishna Paksha) की अंतिम तिथि अमावस्या ही होती है और उसके बाद शुक्ल पक्ष (Shukla Paksha ) की शुरुआत हो जाती है. पौष माह (Paush Month) की अमावस्या (Amavasya) नए साल 2 जनवरी को पड़ेगी. वैसे तो हर माह पड़ने वाली सभी अमावस्या खास होती हैं, लेकिन पौष माह की अमावस्या (Paush Month Amavasya) बेहद खास है. क्योंकि पौष का पूरा महीना ही पितरों को समर्पित माना जाता है.
दरअसल, खरमास (Karmas 2021) के दिन होने के कारण इस माह में किसी भी शुभ काम या मांगलिक कार्यों की मनाही होती है. वहीं, दूसरी ओर इस माह में किया गया पूजा-पाठ शुभ माना जाता है. इसलिए श्राद्ध की तरह छोटा पितृ पक्ष भी कहा जाता है. ऐसी मान्यता है कि इस माह में पितरों के निमित्त पिंड दान करने से उन्हें भटकना नहीं पड़ता और वे सीधा बैकुंठ की ओर प्रस्थान कर जाते हैं.
पौष अमावस्या तिथि का महत्व (Paush Amavasya Tithi Importance)
पौष अमावस्या (Paush Amavasya 2021) का हिंदू धर्म में विशेष महत्व है. अमावस्या के दिन स्नान, पूजा, जाप और तप का विधान है. मान्यता है कि इस दिन गंगा स्नान (Ganga Snan) कर पूजा आदि करने से व्यक्ति को अमोघ फल की प्राप्ति होती है. पितरों के लिए पिंड दान (Pitru Pind daan) करने और दान आदि करने से उन्हें संतुष्टी मिलती है.
इस दिन मिलती है पितृदोष और कालसर्प दोष से मुक्ति (Pitrudosh And Kaalsarp Dosh)
कहते हैं कि कुंडली में व्याप्त पितृदोष (Pitrudosh) और कालसर्प दोष (Kaalsarp Dosh) से मुक्ति पाने के लिए अमावस्या का दिन शुभ होता है. इस दिन ज्योतिष अनुसार कुछ उपायों से पितृदोष और कालसर्प योग से मुक्ति मिलती है. पितृदोष से मुक्ति के लिए इस दिन तर्पण और पिंडदान किया जाता है. कहते हैं कि इससे पितर प्रसन्न होते हैं और अपने वंशजों को आशीर्वाद देते हैं.
पौष अमावस्या शुभ मुहूर्त (Paush Amavasya Shubh Muhurat 2021)
पौष अमावस्या तिथि : 2 जनवरी, 2022, रविवार
पौष अमावस्या प्रारंभ : 2 जनवरी सुबह 3 बजकर 43 मिनट से शुरू होकर
पौष अमावस्या समाप्त : 3 जनवरी सुबह 5 बजकर 26 मिनट पर तक
पौष अमावस्या के दिन जरूर करें ये काम (Do These Upay On Paush Amavasya)
अमावस्या तिथि पितरों को समर्पित होने के कारण इस दिन उन्हें प्रसन्न करने के लिए ये काम अवश्य करें.
1. मान्यता है कि अमावस्या के दिन भगवान श्री कृष्ण की पूजा और गीता (Shri Krishna Puja And Gita Path) का पाठ अवश्य करें.
2. अमावस्या के दिन पितरों को याद करते हुए गरीबों और जरूरतमंदों को वस्त्र, अन्न आदि दान करें.
3. इस दिन पीपल के पेड़ में जल अर्पित करें और पीपल के नीचे दीपक अवश्य जलाएं.
4. अगर संभव हो सके तो पौष अमावस्या (Paush Amavasya 2021) के दिन पीपल का पौधा लगाएं और उसकी सेवा करें.
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