Paush Month 2022 Vrat Tyohar: पौष माह 9 दिसंबर से होगा शुरू, जानें इस महीने के व्रत-त्योहार की लिस्ट
Paush Month 2022 Festival-Vrat Date: पौष माह 9 दिसंबर 2022 से 6 जनवरी 2023 तक रहेगा. जानते हैं पौष माह में कौन से बड़े व्रत-त्योहार आएंगे, जानें उनकी डेट और महत्व.
Paush Month 2022 Festival-Vrat Date: पौष माह 9 दिसंबर 2022 से शुरू हो जाएगा. ये हिंदू धर्म का दसवां महीना है. पौष माह का समापन 6 जनवरी 2023 को होगा. पौष माह शीत ऋतु चरम पर होती है. ये महीना सूर्य देव की पूजा के लिए उत्तम माना गया है.
इसी माह में सूर्य देव धनु राशि में प्रवेश करते हैं और खरमास की शुरुआत हो जाती है. खरमास की अवधि एक माह की होती है इसमें मांगलिक कार्य करने की मनाही है लेकिन पूजा-पाठ करने से शुभ फल मिलता है. आइए जानते हैं पौष माह में कौन से बड़े व्रत-त्योहार आएंगे, जानें उनकी डेट और महत्व.
पौष माह 2022 व्रत-त्योहार (Paush Month 2022 Vrat-Tyohar List)
11 दिसंबर 2022 (रविवार) - अखुरथ संकष्टी चतुर्थी व्रत
ये साल 2022 की आखिरी संकष्टी चतुर्थी होगी. ये व्रत भगवान गणेश को समर्पित है.इनकी आराधना से सुख-समृद्धि आती है.
16 दिसंबर 2022 (शुक्रवार) - धनु संक्रांति, रुक्मिणी अष्टमी, कालाष्टमी, खरमास की शुरूआत
रुक्मिणी अष्टमी के दिन श्रीकृष्ण की पटरानी देवी रुक्मिणी का जन्म हुआ था. इसी दिन सूर्य धनु राशि में विराजमान होंगे जिसे धनु संक्रांति कहते हैं. खरमास की शुरुआत धनु संक्रांति से ही होती है.
19 दिसंबर 2022 (सोमवार) - सफला एकादशी
सफला एकादशी के दिन इस साल की आखिरी एकादशी होगी. एकादशी व्रत के प्रभाव से साधक पाप कर्मों से मुक्ति पाता है
21 दिसंबर 2022 (बुधवार) - पौष प्रदोष व्रत, मासिक शिवरात्रि
23 दिसंबर 2022 (शुक्रवार) - पौष अमावस्या
हिंदू धर्म में पौष माह की अमावस्या का विशेष महत्व है. इस पूरे माह को छोटा पितृपक्ष भी कहा जाता है. अमावस्या तिथि पितरों के तर्पण के लिए खास मानी जाती है.
26 दिसंबर 2022 (सोमवार) - पौष विनायक चतुर्थी
28 दिसंबर 2022 (बुधवार) - स्कंद षष्ठी व्रत
29 दिसंबर 2022 (गुरुवार) - गुरु गोविंद सिंह जयंती
इस दिन सिखों के आखिरी और दसवें गुरु गोविंद सिंह का जन्म हुआ था. इन्होंने ही धर्म की रक्षा के लिए खालसा पंथ की स्थापना की थी.
2 जनवरी 2023 (सोमवार) - पौष पुत्रदा एकादशी, वैकुंण एकादशी
नए साल की शुरुआत पौष पुत्रदा एकादशी से हो रही है. मान्यता है इस व्रत को करने से संतान संबंधी समस्याएं खत्म हो जाती है. निसंतान दंपत्ति को योग्य संतान प्राप्त होती है.
4 जनवरी 2023 (बुधवार) - पौष दूसरा प्रदोष व्रत
6 जनवरी 2023 (शुक्रवार) - पौष पूर्णिमा
पौष माह की पूर्णिमा बहुत खास मानी जाती है. पूर्णिमा तिथि पर लक्ष्मी-नारायण की पूजा का विधान है. पूर्णिमा का व्रत जीवन में सौभाग्य लेकर आता है.
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