Puja Path: हिंदू धर्म (Hindu Dharma) में पूजा-पाठ की विशेष महत्ता बताई गई है. सनातन धर्म (Sanatan Dharma) में हर व्यक्ति को पूजा जरूर करनी चाहिए. पूजा-पाठ  के द्वारा व्यक्ति की आस्था प्रकट होती है और यह आध्यात्मिक रूप से ईश्वर (God) से जुड़ने का माध्यम है.


लोग पूजा-पाठ के लिए मंदिर जाते हैं तो वहीं कुछ घर पर ही पूजा करते हैं. लेकिन कई लोगों के मन में पूजा-पाठ के दौरान विभिन्न तरह के भाव उत्पन्न होते हैं. तो वहीं कुछ के साथ कई तरह की अनुभूतियां होती हैं.


कुछ लोगों को पूजा (Worship) के दौरान नींद आने लगती है, कुछ के आंखों में आंसू आ जाते हैं, कुछ लोगों को ऊबासी आती है तो कुछ को डर लगता है.


वैसे तो पूजा-पाठ के दौरान होने वाली घटनाएं आमतौर पर शुभ (Shubh) मानी जाती है. लेकिन जानकारों के अनुसार, इसमें से कुछ अनुभूतियां या भाव नकारात्मकता (Negativity) के भी संकेत देते हैं. आइये जानते हैं विभिन्न भावों से मिलने वाले संकेतों और कारणों के बारे में.


क्या आपको भी पूजा के दौरान होती है ऐसी अनुभूतियां



  • पूजा के दौरान नींद आना: कई लोगों को पूजा के दौरान नींद (Sleeping In Worship) आने लगती है. अगर आपके साथ भी कुछ ऐसा ही होता है तो यह मन में कपट भाव को दर्शाता है. यानी जब मन में कोई बुरा भाव हो तो पूजा के दौरान नींद आती है. इससे आपका ध्यान पूजा से भटकता है.

  • पूजा के दौरान ऊबासी आना: कई बार पूजा करते समय या पूजा में शामिल होने पर आप थकाऊपन सा महसूस करते हैं, जिससे ऊबासी आने लगती है. कभी-कभी ऐसा होता है कि आरती (Puja Aarti) करते समय या फिर धार्मिक ग्रंथों या कथा का पाठ करते समय भी शरीर में भारीपन लगने लगता है. इसका यह अर्थ है कि आसपास नकारात्मकता का प्रभाव है, जिससे आपका ध्यान पूजा से भटक रहा है.

  • पूजा के दौरान आंसू आना: पूजा-पाठ के समय आंखों में आंसू आना (Tears Come During Puja) अच्छा संकेत माना जाता है. इससे यह संकेत मिलता है कि आपको जल्द ही कोई शुभ समाचार मिल सकता है या आपकी मनोकामना पूर्ण हो सकती है. पूजा के दौरान आंखों से आंसू आना भगवान के साथ आपके संपर्क को दर्शाता है,

  • पूजा के दौरान मन भटकना: पूजा करते समय यदि आपका मन बार-बार भटक रहा है तो यह राहु (Rahu) के दुष्प्रभाव को दर्शाता है. इसके अलावा यह भी कारण हो सकता है कि आपके मन में कई तरह के विचार एक साथ चल रहे हैं. कारण जो भी हो लेकिन पूजा के दौरान मन भटकना अच्छा नहीं माना जाता है.

  • पूजा के दौरान भय लगना: अगर पूजा करते समय आप भय महसूस करते हैं तो इसका यह अर्थ है कि आपसे जरूर कोई गलती हुई, जिसका आपका डर सता रहा है. इसके अलावा इसका एक कारण यह भी है कि आप पर शनि की वक्री (Shani Vakri) दृष्टि का प्रभाव है, जिससे भय उत्पन्न हो रहा है.


ये भी पढ़ें: Job Astrology: ऑफिस की पॉलिटिक्स में फंसा देता है ये पाप ग्रह, कुंडली के 10 भाव में हो तो नौकरी पर लटकती रहती है तलवार








Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.