Ravan Dahan Time 2024 Live: दशहरा पर रावण दहन से लेकर शस्त्र पूजन का जानें सही शुभ मुहूर्त
Ravan Dahan Time 2024 Live: दशहरा (Dussehra 2024 Muhurat) और विजयदशमी के मौके पर देशभर में तमाम जगह रावण दहन किया जाएगा. रावण दहन से लेकर दशहरा का शुभ मुहूर्त और पूजन विधि के बारे में जानते हैं.
Ravan Dahan 2024: दिल्ली में रावण दहन कहां-कहां है?
- लाल किला मैदान, चांदनी चौक
- सुभाष मैदान, रामलीला ग्राउंड
- श्रीराम भारतीय कला केंद्र थियेटर लॉन, मंडी हाउस
- जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम, दिल्ली
Ravan Dahan 2024: रावण दहन पर बन रहा है शुभ योग
पंचांग के मुताबिक इस रावण दहन के अवसर पर शुभ योग बन रहा है. दहन के दिन सर्वार्थ सिद्ध, रवि योग के साथ श्रवण योग बन रहा है. पंचांग के अनुसार 12 अक्टूबर को सुबह 5 बजकर 24 मिनट पर श्रवण नक्षत्र प्रारंभ होगा, जो 13 अक्टूबर को सुबह 4 बजकर 24 मिनट पर समाप्त होगा. इसके साथ ही सर्वार्थ सिद्धि योग सुबग 5 बजकर 25 मिनत से शुरू होकर, 13 अक्टूबर सुबह 4 बजकर 27 मिनट पर समाप्त होगा. वही रवि योग सुबह 6 बजकर 20 मिनट पर शुरु होकर अगले दिन 13 अक्टूबर को सुबह 6 बजकर 21 मिनट पर होगा.
Ravan Dahan 2024: रावण दहन 2024
Ravan Dahan 2024: रावण दहन की शुभकामनाएं
Ravan Dahan 2024: रावण दहन की जली लकड़ियों को घर लाने से घर में कभी भी नकारात्मक शक्तियां हावी नहीं होती है. घर में रावण दहन की लकड़िया या राख रखने से बिगड़े काम बनते चले जाते हैं.
रावण दहन का समय (ravan dahan timing)
रावण दहन का समय 12 अक्टूबर शाम 7 बजकर 30 मिनट पर है.
Ravan Dahan 2024: रावण दहन की पूजा विधि हिन्दू धर्म में दशहरे के पर्व के दौरान विशेष रूप से महत्वपूर्ण होती है.यह विधि रावण के अंदर की बुराईयों को दहन कर अच्छाई की जीत का प्रतीक है. यहां रावण दहन की पूजा विधि का संक्षिप्त विवरण दिया गया है:
रावण दहन की पूजा विधि
- स्थान का चयन
एक खुला मैदान को चुनें जहाँ रावण का पुतला स्थापित किया जा सके. यह स्थान सार्वजनिक हो सकता है - पुतले की स्थापना
रावण का पुतले को खड़े करने के बाद उसकी आस-पास की जगह को साफ कर लें. - पूजा की सामग्री
रावण को दहन करने से पहले फूल, अगरबत्ती, धूप, दीपक, चावल, फल (जैसे केले या सेब), मिठाई, और पूजा का थाल तैयार करें. इसके बाद रावण के पुतले पर गंगाजल छिड़के और पुतले को पवित्र करें. - आरती और मंत्र
रावण दहन से पहले भगवान श्रीराम की आरती करें और उनके प्रति श्रद्धा व्यक्त करें. निम्नलिखित मंत्रों का जाप करें:
ॐ ह्लीं ह्लीं रावणाय स्वाहा (किसी विशेष पूजा के लिए) श्रीराम के अन्य मंत्रों का भी जाप करें. पुतले के सामने खड़े होकर प्रार्थना करें. - अग्नि प्रज्वलन
रावण दहन करने से पहले पूजा करके इसके बाद पुतले के नीचे आग लगाएं. आग लगने के साथ रावण का दहन करें और सभी बुराइयों का अंत होने का आशीर्वाद लें. - प्रसाद वितरण
रावण दहन के बाद पूजा के प्रसाद का वितरण करें. मिठाई और फलों को सभी उपस्थित लोगों में बाँटें.
Ravan Dahan 2024: उत्तर प्रदेश के बागपत जिले में स्थित बड़ागांव में रावण के पुतले को जलाया नहीं जाता है. बल्कि रावण की पूजा की जाती है. रावण दहन ना करने के पीछे प्रचालित मान्यता है कि रावण ने मनसा देवी की मूर्ति को गांव में स्थापित किया था. माना जाता है कि जब रावण मनसा देवी की मूर्ति को उठाकर ले जा रहा था, तब मनसा देवी ने रावण से वचन लिया था कि जहां भी मूर्ति को रखी जाएगी, मूर्ति वही स्थापित हो जाएगी. गांव के लोग रावण को अपना पूर्वज भी मानते हैं, जिस वजह से इस गांव में रावण की मूर्ति को जलाया नहीं जाता है.
Ravan Dahan 2024: Ravan Dahan 2024 Timing
- रावण दहन- शनिवार, 12 अक्टूबर 2024
- विजय मुहूर्त- दोपहर 2:04 PM से 3:55 PM तक रहेगा.
- पराह्न पूजा का समय- 01:17 PM से 03:35 PM तक रहेगा.
Ravan Dahan 2024: रावण पराक्रमी योद्धा होने के साथ-साथ प्रकांड विद्वान भी था. जिसे शस्त्र से लेकर शास्त्र तक का ज्ञान था. तीनों लोकों में रावण को लंकापति रावण कहा जाता था. मान्यताओं के मुताबिक सोने की लंका भगवान शिव ने रावण को दान की थी. रावण की नजर जब सोने की लंका पर पड़ी तो, लालच में रावण ने ब्राह्मण का भेष धारण करके भगवान शिव से छल करके सोने की लंका को हासिल किया. वही सोने की लंका को विश्वकर्मा जी ने बनाया था.
Ravan Dahan 2024: रावण एक कुशल व्यापारी होने के साथ राजनीतिज्ञ, महायोद्धा, चित्रकार, संगीतकार भी था.
Ravan Dahan 2024: लंकापति रावण का असली नाम दशगीवृ था. रावण का ये नाम उसके दस सिरों की ओर इशारा करते हैं.
Ravan Dahan 2024: रावण को लेकर कहा जाता है कि रावण ब्रहाराक्षस जाति का था.
Ravan Dahan 2024: रावण के 10 सिर काम, क्रोध, लोभ, मोह, द्वेष, घृणा, पक्षपात, अहंकार, व्यभिचार और धोखा के प्रतीक थे.
Ravan Dahan 2024: दुर्गा पूजा के दसवें दिन विजयदशमी और दशहरा का त्योहार धूम-धाम से मनाया जाता है. इस साल विजयदशमी का त्योहार 12 अक्टूबर शनिवार को है. इस त्योहार को लेकर भारत वर्ष में कई तरह की मान्यताएं हैं. जिसमें सबसे प्रसिद्ध मान्यता ये है कि इस दिन रामचंद्र जी ने रावण का वध किया था. इसी कारण से हर वर्ष रावण के पुतले को दहन किया जाता है. विजयदशमी का त्योहार इस बात की ओर इशारा करता है कि बुराई कितनी भी ताकतवर क्यों न हो जाए, अच्छाई के आगे घुटने टेक ही देती है.
बैकग्राउंड
Ravan Dahan Time 2024 Live: दुर्गा पूजा के दसवें दिन विजयदशमी और दशहरा (Dussehra 2024) का पर्व मनाया जाता है. इस साल विजयदशमी का पर्व 12 अक्टूबर शनिवार को है. इस पर्व को लेकर भारत वर्ष में कई तरह की मान्यताएं हैं. जिसमें सबसे प्रसिद्ध मान्यता ये है कि इस दिन रामचंद्र जी ने रावण का वध किया था. इसी वजह से प्रत्येक वर्ष रावण के पुतले को दहन किया जाता है. विजयदशमी (Vijaydashmi 2024) का त्योहार इस बात की ओर इशारा करता है कि बुराई कितनी भी ताकतवर क्यों न हो जाए, अच्छाई के आगे घुटने टेक ही देती है. ऐसे में इस साल दशहरा पूजन से लेकर रावण दहन और शस्त्र पूजन के शुभ मुहूर्त के बारे में जानते हैं.
दशहरा 2024 शुभ मुहूर्त (Dussehra 2024 Shubh Muhurat)
इस साल दशहरा का शुभ मुहूर्त अश्विन मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाएगा. दशहरा का शुभ मुहूर्त 12 अक्टूबर को सुबह 10 बजकर 58 मिनट से शुरू होगा. जो 13 अक्टूबर 2024 रविवार को सुबह 9 बजकर 8 मिनट पर समापन होगा.
शस्त्र पूजन शुभ मुहूर्त (Dussehra 2024 Shastra Pujan Shubh Muhurat)
दशहरा के दिन शस्त्र पूजन भी किया जाता है. शस्त्र पूजन का हिंदू धर्म में विशेष महत्व है. शस्त्र पूजन के लिए शुभ मुहूर्त 12 अक्टूबर 2024 दोपहर 2 बजकर 2 मिनट पर है. वही दोपहर के 2 बजकर 48 मिनट पर शुभ मुहूर्त समाप्त होगा.
दशहरा 2024 पूजन विधि (Dussehra 2024 Pujan Vidhi)
- दशहरा के दिन सूर्योदय से पहले उठकर स्नान करके साफ कपड़े धारण करने चाहिए.
- इसके बाद गेहूं और चुने से दशहरे की प्रतिमा को बनाएं.
- गाय के गोबर से 9 गोले और 2 कटोरे बनाकर, एक कटोरी में सिक्के और दूसरी कटोरी में रोली के साथ चावल, जौ, और फल रखें.
- इसके बाद प्रतिमा को केले के साथ जौ, गुड़ और मौली अर्पित करें.
- इसके बाद दान-दक्षिणा देकर गरीबों में भोजन का दान करें.
- पूजा समाप्ति के बाद बड़े-बुजुर्गों से आशीर्वाद लेना न भूलें.
दशहरे के दिन ये उपाय करें (Dussehra Upay in Hindi)
- दशहरे के दिन भगवान राम जी के साथ हनुमान जी की पूजा आराधना करना बेहद शुभ होता है.
- मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा-अर्चना करने से व्यक्ति के जीवन में कभी दरिद्रता नहीं आती है.
- दशहरे के दिन घर में कीर्तन करने से घर में सदैव भक्ति भाव का वातावरण बना रहता है.
- दशहरे के दिन गरीबों को खाना, कपड़े दान करने से कभी भी किसी चीज की कमी नहीं होती है.
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