Navratri 2022 Maa Brahmacharini: मां ब्रह्मचारिणी को इस आरती से करें प्रसन्न, जानें देवी की पूजा का महत्व
Shardiya Navratri 2022: नवरात्रि में 27 सितंबर 2022 को द्वितीया तिथि पर मां ब्रह्मचारिणी की पूजा कर उनकी आरती जरूर करें, इससे मां प्रसन्न होती हैं.
![Navratri 2022 Maa Brahmacharini: मां ब्रह्मचारिणी को इस आरती से करें प्रसन्न, जानें देवी की पूजा का महत्व Shardiya navratri 2022 Second day Maa Brahmacharini Puja aarti vidhi Navratri 2022 Maa Brahmacharini: मां ब्रह्मचारिणी को इस आरती से करें प्रसन्न, जानें देवी की पूजा का महत्व](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2022/09/26/74d024e8f238703a306a7851cff262e21664206942672499_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Shardiya Navratri 2022 Maa Brahmacharini Puja: नवरात्रि का दूसरा दिन मां ब्रह्मचारिणी को समर्पित है. देवी की उपासना से आत्मविश्वसा, बुद्धि, संयम में वृद्धि होती है. देवी का यह रूप लक्ष्य प्राप्ति के प्रति पूर्णता से खुद को समर्पित करने की सीख देता है. मां ने अपने कठोर तप से ही भगवान शिव को पति के रूप में पाया था. तपस्या से शक्ति मिलती है. नवरात्रि में 27 सितंबर 2022 को द्वितीया तिथि पर मां ब्रह्मचारिणी की पूजा कर उनकी आरती जरूर करें, इससे मां प्रसन्न होती हैं.
मां ब्रह्माचारिणी आरती (Maa Brahmacharini Aarti)
जय अंबे ब्रह्माचारिणी माता।
जय चतुरानन प्रिय सुख दाता।
ब्रह्मा जी के मन भाती हो।
ज्ञान सभी को सिखलाती हो।
ब्रह्मा मंत्र है जाप तुम्हारा।
जिसको जपे सकल संसारा।
जय गायत्री वेद की माता।
जो मन निस दिन तुम्हें ध्याता।
कमी कोई रहने न पाए।
कोई भी दुख सहने न पाए।
उसकी विरति रहे ठिकाने।
जो तेरी महिमा को जाने।
रुद्राक्ष की माला ले कर।
जपे जो मंत्र श्रद्धा दे कर।
आलस छोड़ करे गुणगाना।
मां तुम उसको सुख पहुंचाना।
ब्रह्माचारिणी तेरो नाम।
पूर्ण करो सब मेरे काम।
भक्त तेरे चरणों का पुजारी।
रखना लाज मेरी महतारी।
मां ब्रह्मचारिणी की पूजा का महत्व (Maa Brahmacharini Puja Significance)
- मां दुर्गा का ये दूसरा स्वरूप भक्तों को शुभ और अनंत फल देने वाला है.
- मां ब्रह्मचारिणी का पूजन करने से अहंकार, लोभ, क्रोध, आलस्य, स्वार्थ और ईर्ष्या जैसी दुष्प्रवृत्तियां दूर हो जाती हैं.
- मां ब्रह्मचारिणी की पूजा में लाल रंग का उपयोग करने पर घर में सुख-शांति आती है.
- नौ दिन देवी की सुबह-शाम पूजा और आरती करने से वह बहुत खुश होती हैं और भक्तों की मनोकामना पूर्ण करती हैं.
- इन 9 दिनों में ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए. इसके साथ ही माता रानी की प्रिय वस्तु उन्हें अर्पित करना चाहिए.
- देवी ब्रह्मचारिणी का प्रिय भोग पंचामृत है. साथ ही उनका प्रिय फूल बरगद के पेड़ का पुष्प है.
नवरात्रि 2022: मां ब्रह्मचारिणी की पूजा में दूसरे दिन लगाएं ये भोग, जानें देवी का प्रिय रंग और मंत्र
Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)