कोरोना संक्रमण के चलते लागू पाबंदियों के महीनों बाद रविवार को सीमित संख्या में जायरीन ने खान-ए-काबा का तवाफ किया. सऊदी अरब ने सिर्फ छह हजार लोगों को उमरा करने की इजाजत दी है. इजाजत के पहले चरण में सिर्फ सऊदी नागरिकों और शहरी मक्का पहुंचकर उमरा की अदायगी करना होगा. जायरीन को उमरा की इजाजत सिर्फ तीन घंटों के लिए ही दी गई है.


सीमित संख्या के साथ उमरा की शुरुआत


उमरा की इच्छा जतानेवालों को अधिकारियों ने समय और तारीख आरक्षित करने के लिए ऑनलाइन आवेदन की सुविधा दी है. इसका मकसद भीड़भाड़ से होनेवाले संक्रमण को नियंत्रित करना है. सऊदी हज मंत्री ने कहा कि 20-25 यात्रियों के समूह के साथ आपातकालीन स्थिति में एक डॉक्टर और मेडिकल टीम रहेगी. उमरा का दूसरा चरण 18 अक्टूबर से शुरू होनेवाला है. उसमें ज्यादा से ज्यादा 15 हजार जायरीन मक्का की यात्रा कर सकते हैं. इसके अलावा खान-ए-काबा में नमाज पढ़नेवाले स्थानीय नागरिकों को ऐप के माध्यम से मंजूरी लेने को कहा गया है.


उमरा पर लगी पाबंदियों में दी गई मामूली ढील


मक्का की जियारत करनेवालों को परिवहन के लिए ऐप इस्तेमाल का भी विकल्प दिया गया है. गृह मंत्रालय ने बताया कि विदेशी मुसलमानों को 1 नवंबर तक उमरा करने की इजाजत दी जाएगी. सऊदी अरब ने हाल ही में मार्च से पहली बार विदेशी उड़ानों पर लगी पाबंदियों में ढील देना शुरू किया है. कोरोना संक्रमण को काबू करने के तमाम प्रयासों के बावजूद सऊदी अरब में करीब 3 लाख 36 हजार मामले सामने आ चुके हैं. जबकि संक्रमण से मरनेवालों की तादाद 4 हजार 850 रही है. गौरतलब है कि उमरा के लिए सऊदी अरब में लाखों जायरीन हर साल पहुंचते हैं मगर इस बार सिर्फ छह हजार लोगों को इजाजत दी गई है. इस साल रविवार को उमरा की शुरुआत संक्रमण से बचाव के उपायों और नियमों के साथ हुई.


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