Vastu Tips For New House: वास्तु शास्त्र (Vastu Shastra) के नियम सूर्य की किरणों पर आधारित होते हैं. वास्तु ज्योतिष (Vastu Jyotish) की महत्वपूर्ण शाखा है. वास्तु जानकारों का मानना है कि घर को बनवाते या खरीदते समय वास्तु नियमों (Vastu Niyam) का पालन न किया जाए, तो घर में कई तरह के वास्तु दोषों का सामना करना पड़ सकता है. घर में वास्तु के नियम बहुत अहम रोल निभाते हैं. घर से नकारात्मक ऊर्जा को निकाल सकारात्मक ऊर्जा का संचालन करने में सहायक होते हैं. 


अगर नए साल पर आप भी नया मकान खरीदने की सोच रहे हैं, तो वास्तु के कुछ जरूरी नियमों को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है. अन्यथा घर में वास्तु दोष (Vastu Dosh) रह सकते हैं. घर में वास्तु दोष रहने से घर की सुख-शांति खत्म होती है और परिवार के सदस्यों के बीच अनबन बनी रहती गै. 


नया घर खरीदते समय रखें इन बातों का ध्यान (Vastu Rules For Buying New House)


- वास्तु के अनुसार दक्षिणमुखी मकान या जमीन को शुभ नहीं माना जाता. इसलिए मकान या जमीन खरीदते समय ध्यान रखें कि वे दक्षिणमुखी न हो. मकान दक्षिणमुखी होने पर ज्योतिष से सलाह लेकर इसमें जरूरी बदलाव करवा लें. ताकि घर में मौजूद वास्तु दोष समाप्त हो जाएं.


- इसके अलावा, मकान का मुख्य द्वार उत्तर, उत्तर-पूर्व या पश्चिम की ओर होना चाहिए. दक्षिण, दक्षिण-पश्चिम, उत्तर-पश्चिम या दक्षिण-पूर्व दिशा में मुख्य गेट को शुभ नहीं माना जाता.
 
- इसके साथ ही, इस बात का भी ध्यान रखें कि घर में सूर्य की रोशनी और हवा अच्छे से आए. कहते हैं कि जिस घर में सूरज की रोशनी सही से नहीं आती, वहां नकारात्मकता का वास होता है. 


- वास्तु के अनुसार जमीन पर कांटेदार पेड़ या जमीन में गड्ढे हों ऐसी जमीन पर भी मकान बनवाना शुभ नहीं माना जाता. 


- इतना ही नहीं, मकान के सामने कोई पेड़, खंबा या मंदिर नहीं होना चाहिए. कहते हैं कि ये चीजें वास्तु दोष उत्पन्न करती हैं. इससे लोगों की तरक्की बाधित होती है. 


- मकान के आसपास दक्षिण-पश्चिम दिशा में कोई कुआं या तालाब आदि नहीं होना चाहिए.


- वास्तु के अनुसार मकान का कोई कोना कटा हुआ नहीं होना चाहिए. वास्तु के जानकारों का मानना है कि वर्गाकार या आयताकार आकार का घर शुभ माना जाता है.


Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.


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