जामुन के नाम से मशहूर भारतीय ब्लैकबेरी को जावा प्लम भी कहा जाता है. ये फल गर्मी के मौसम में मिलना शुरू हो जाता है. फल में औषधीय गुण भरपूर होते हैं और कई बीमारियों से शरीर की रक्षा करता है. इम्यूनिटी मजबूत करने के साथ जामुन खाने से अनगिनत फायदे मिलते हैं. ये न सिर्फ शरीर में खून की कमी को पूरा करता है, बल्कि ब्लड शुगर काबू करने की भी सबसे अच्छी दवा है. गूदा के साथ साथ जामुन की गुठली कई बीमारियों के खिलाफ सुरक्षा देती है. हालांकि, इसमें कोई शक नहीं कि ये फल सेहत के लिए लाभदायक है, मगर इसके बावजूद कभी-कभी हानिकारक भी साबित हो सकता है. 


जामुन खाने के साइड-इफेक्ट्स 


ब्लड शुगर असंतुलन- आयुर्वेद के मुताबिक, आम तौर से जामुन का सेवन हाई ब्लड प्रेशर मरीजों के लिए बेहद मुफीद है. ब्लड शुगर को आसानी से डाइट में गुठली का पाउडट या जामुन को शामिल कर काबू किया जा सकता है. लेकिन बहुत लोग उस पर नियंत्रण पाने के चक्कर में हद से ज्यादा खाने लगते हैं, उसके कारण लो ब्लड प्रेशर की समस्या हो सकती है. 


कब्ज- जामुन विटामिन सी में भरपूर होता है. ऐसी स्थिति में अगर आप अत्यधिक मात्रा में खाते हैं, तो आपको कब्ज की समस्या का सामना करना पड़ सकता है. 


मुंहासे- अगर आप ज्यादा जामुन का सेवन करते हैं, तो ये आपकी स्किन के लिए समस्या पैदा कर सकता है. चेहरे पर मुंहासे फूट पड़ने का डर रहता है. 


उल्टी की समस्या- कई लोगों को जामुन खाने के बाद उल्टी का सामना करना पड़ता है. अगर आपको इस तरह की शिकायत है, तो बेहतर है कि उसका सेवन न करें. 


अधिक सेवन के नुकसान- उसके फायदों की जानकारी होने के बाद जामुन लोग अधिक मात्रा में खाने लगते हैं. लेकिन ऐसा करना आपके लिए खतरनाक हो सकता है. आयुर्वेद में बताया गया है कि किसी भी चीज का सेवन सिर्फ दवा की शक्ल यानी सीमित मात्रा किया जाना चाहिए. कभी-कभी अत्यधिक सेवन कई अन्य बीमारियों की वजह बन सकता है.  


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