अब होगा LOC टूरिज्म, बॉर्डर पर स्टे करके फौजियों की जिंदगी से रूबरू हो पाएंगे टूरिस्ट
सीमा पर पर्यटन बढ़ाने के लिए एक नया तरीका सामने आया है. राज्य प्रशासन एलओसी के पास शून्य रेखा पर आधुनिक बंकर बना रहा है, जिनमें जल्द ही पर्यटक रह सकेंगे और फौजियों की जिंदगी से रूबरू हो पाएंगे.
भारतीय सीमा (लाइन ऑफ कंट्रोल) पर पाकिस्तान के साथ जम्मू और कश्मीर में अब युद्ध कम हो गए हैं. इस शांति के बीच सीमा पर पर्यटन बढ़ाने के लिए एक नया तरीका सामने आया है. राज्य प्रशासन एलओसी के पास शून्य रेखा पर आधुनिक बंकर बना रहा है, जिनमें जल्द ही पर्यटक रह सकेंगे और फौजियों की जिंदगी से रूबरू हो पाएंगे. बता दें साम्बा जिले में एलओसी के सामने दो ऐसे बंकर तैयार हैं. इनमें एसी, स्मार्ट टीवी, कपबोर्ड सभी भूमि के 20 फीट नीचे रखे गए हैं. अगर आप भी फौजियों की जिंदगी को पास से देखना चाहते हैं और कुछ दिन वहां रूकना चाहते हैं तो आप वहां जा सकते हैं.
छोटा सा जिम भी वहां
इस साल 370 ऐसे बंकर बनाए जाने का प्लान है. उनका किराया अभी तक निर्धारित नहीं है. जानकारी के अनुसार अगर यदि भविष्य में पाकिस्तानी पक्ष से कभी भी फायरिंग होती है तो बंकर स्थानीय लोगों के लिए खोले जाएंगे ताकि वे यहाँ आसानी से लंबे समय तक रह सकें. बंकर में पुस्तकालय और छोटे जिम मशीनों को भी यहाँ रखा गया है. पानी और बिजली की आपूर्ति किसी भी परिस्थिति में बंद नहीं की जाएगी. टूरिस्ट को यहां किसी भी सुविधा में कमी नहीं होगी.
बंकर में सारी सुविधा
दो प्रकार के बंकर है एक 160 फीट दूसरा 800 फीट. बंकर का आकार 160 वर्ग फीट है. इनमें 8 लोग रह सकेंगे. दूसरा बंकर 800 वर्ग फीट का है, इनमें 40 लोग रह सकेंगे. रामगढ़ और सुचेतगढ़ में दो मॉडल बंकर बनाए गए हैं. इसमें एसी, कपबोर्ड, टीवी, मेज और कुर्सी शामिल हैं. सीढ़ियों से लेकर बंकर के अंदर जमीन पर मार्बल लगाया है.
कश्मीर में बढ़ी पर्यटकों की संख्या
कश्मीर में दिनों दिन पर्यटको की संख्या बढ़ रही है. कश्मीर को 'पृथ्वी पर स्वर्ग' माना जाता है इसका एक सबसे स्पष्ट कारण यहां के लुभावने परिदृश्य हैं जो पर्यटकों को यहां मिलते हैं. दुनिया भर से लोग इस खूबसूरत स्वर्ग की ओर बढ़ते पानी, हरे-भरे घास के मैदान और आश्चर्यजनक रूप से ऊंची पर्वत श्रृंखलाओं को देखने के लिए यात्रा करते हैं.
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