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World Elder Abuse Awareness Day 2023 : भारत में 60 फीसदी बुजुर्गों को करना पड़ता है दुर्व्यवहार का सामना, घर की नींव का ऐसे रखें ख्याल
हाल के कुछ सालों में बड़े-बुजुर्गों के साथ बुरे व्यवहार की घटनाओं में बढ़ोतरी हुई है. कहीं जानबूझकर तो कहीं अनजाने में उनको प्रताड़ित किया जाता है.
World Elder Abuse Awareness Day 2023 : हमारे घर की नींव बड़े-बुजुर्ग होते हैं. उनकी वजह से घर की कायाकल्प काफी बेहतर होती है. हमारा व्यवहार भी अच्छा होता है. बड़े-बुजुर्ग हमें हर वो बात सिखाते हैं, जिनका जीवन में काफी महत्व होता है लेकिन हम सब अपने बड़े-बुजुर्गों का महत्व ही कई बार नहीं समझ पाते हैं और उनके साथ बुरा बर्ताव करने लगते हैं. दुनियाभर में बुजुर्गों के साथ दुर्व्यवहार की घटनाओं में बढ़ोतरी हो रही है. इसी से उन्हें बचाने और हमे जागरूक करने हर साल 15 जून को वर्ल्ड एल्डर एबयूज अवेयरनेस डे यानी विश्व बुजुर्ग दुर्व्यवहार जागरूकता दिवस (World Elder Abuse Awareness Day 2023) मनाया जाता है.
वर्ल्ड एल्डर एब्यूज अवेयरनेस डे का उद्देश्य और थीम
दुनियाभर के बुजुर्गों के प्रति हो रहे दुर्व्यवहार और उपेक्षा को लेकर हर किसी को जागरूक करना ही इस दिन का उद्देश्य है. इस तरह के समाज में बुजुर्गों के प्रति सम्मान और सेवा की भावना को पैदा करने के लिए अभियान चलाए जाते हैं. इस साल की थीम (World Elder Abuse Awareness Day 2023 Theme) 'Combating Elder Abuse' है. इसका मतलब बुजुर्गों के प्रति हो रहे बुरे बर्ताव के खिलाफ आवाज उठाना है.'
भारत में बुजुर्गों का हाल
NGO हेल्प एज के 2022 में कराए गए एक सर्वे में पाया गया कि करीब 60 प्रतिशत बुजुर्गों के प्रति भारत में दुर्व्यवहार होता है. इस सर्वे में दिल्ली, कोलकाता, मुंबई, बेंगलुरु, चेन्नई, हैदराबाद, अहमदाबाद, नागपुर, कानपुर और मदुरै समेत कई शहरों को शामिल किया गया था. रिपोर्ट बताती है कि 73% युवाओं ने यह माना है कि बुजुर्गों के साथ बुरा बर्ताव होता है. 42% लोग यह मानते हैं कि भारत समेत सभी विकसित समाज में यह समस्या होती है.
इस तरह रोकें बुजुर्गों के साथ हो रहे दुर्व्यवहार
1. बातचीत
अपनी दिनचर्या से कुछ समय निकालकर घर के बड़े-बुजुर्गों को दें. घर के इंपॉर्टेंट मुद्दों पर उनसे बातचीत करें. अगर आपके सामने किसी बुजुर्ग से बुरा व्यवहार हो रहा है तो सही समय देखकर उनसे बात करें. उनसे तभी उनका दुख पूछे जब वे खुद से अपनी कहानी बताएं.
2. सहमति
अगर आप किसी बुजुर्ग की हेल्प करना चाहते हैं तो सबसे पहले उनकी परमीशन लें. बिना उनकी अनुमति के मदद करने से बचें. यह भी जाने-अनजाने बुजुर्गों के प्रति असम्मान ही है. कोई भी एक्शन तभी लें, जब बुजुर्गों की उसमें सहमति हो.
3. रूढ़िवादिता से अवॉयड करें
अगर आपके और किसी बुजुर्ग के बीच कोई बाधा है तो किसी भी तरह की रूढ़िवादिता से बचने की कोशिश करें. बुजुर्गों को भी इससे होने वाले नुकसान को बताएं और उनके प्रति सम्मान रखें.
4. बजुर्गों को स्पेस दें
बुजुर्गों की हर समय हेल्प करें, हालांकि इस बात का ध्यान रखें कि उनकी आजादी न छीनने पाए. उन्हें ऐसा नहीं लगना चाहिए कि मदद के नाम पर आप उनकी स्वतंत्रता में दखलअंदाजी कर रहे हैं. उन्हें पूरा स्पेस दें.
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