पटना: देश और दुनिया में कोरोना का कोहराम बढ़ता ही जा रहा है. देश में कोरोना के 74 हजार से ज्यादा मामले सामने आ चुके हैं. वहीं लॉकडाउन में कुछ शर्तों के साथ काम भी कई जगहों पर शुरू किया जा रहा है. ऐसे में एबीपी न्यूज़ की टीम बिहार के इंडस्ट्रियल इलाके में पहुंची. ये जानने के लिए कि कोरोना से लड़ने के लिए जो एहतियात बरतनी है और जो शर्तें हैं उसके साथ क्या मजदूर काम कर रहे हैं ?


कोरोना से पहले और अब क्या बदला है ? इन सब सवालों का जवाब पाने के लिए साइकिल बनाने की फैक्ट्री का जायजा एबीपी न्यूज की टीम ने लिया. इंडस्ट्रियल इलाके में  हीरो साइकिल फैक्ट्री की शुरुआत 2014 में हुई थी. यहां कुल 300 मजदूर काम कर रहे थे. लॉकडाउन में काम बंद हो गया था फिर चार मई से काम शुरू हो गया है.


पहले दो शिफ्ट में काम चलता था लेकिन अब एक शिफ्ट में में काम हो रहा है. यहां लॉकडाउन से पहले 3 हजार साइकिल तैयार की जाती थी. अब एक हजार साइकिल तैयार की जा रही है.


बिहार में कोरोना वायरस के मामलों की संख्या बढ़कर 944 हुई
बिहार में बुधवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 65 नये मामले सामने आए. इसके बाद प्रदेश में कोविड-19 से संक्रमित मामलों की संख्या बढ़कर 944 हो गई. स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने बताया कि बुधवार को कोरोना वायरस संक्रमण के सामने आए 65 मामलों में नवादा एवं पटना के नौ-नौ, भोजपुर के सात, भागलपुर के छह, बांका एवं सिवान के चार-चार, बक्सर, बेगूसराय, रोहतास, खगडिया, मुजफ्फरपुर एवं सुपौल के तीन-तीन, गोपालगंज के दो तथा मधुबनी, कैमूर, लखीसराय, पूर्वी चंपारण, मुंगेर एवं औरंगाबाद के एक-एक मामले शामिल हैं .


उन्होंने बताया कि इन सभी रोगियों के संपर्क में आए लोगों के बारे में पता लगाया जा रहा है. गौरतलब है कि बिहार में कोरोना वायरस संक्रमण से अबतक कुल सात मरीजों (पटना में दो तथा मुंगेर, रोहतास, पूर्वी चंपारण, वैशाली एवं सीतामढ़ी जिले में एक—एक मरीज) की मौत हो चुकी है. बिहार के सभी 38 जिले अब कोविड-19 की चपेट में आ चुके हैं .



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