नई दिल्ली : अमरनाथ यात्रियों पर हमला दो आतंकी गुटों ने मिल कर किया है. घाटी में पहले से सक्रिय लश्कर ए तैयबा और हिजबुल मुजाहिद्दीन के आतंकियों ने मिलकर कायराना वारदात को अंजाम दिया है. खास बात यह है कि 'लोकल' मॉड्यूल की मदद से निहत्थों पर गोलियां बरसाई गई हैं. सुरक्षा एजेंसियों जांच में लगी हुई हैं.
लश्कर और हिजबुल के आतंकी एक साथ मिलकर ऑपरेशन कर रहे हैं
गौरतलब है कि इस समय घाटी में लश्कर और हिजबुल के आतंकी एक साथ मिलकर ऑपरेशन कर रहे हैं. इनकी मदद कुछ भटके हुए कश्मीरी युवक कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि वारदात को अंजाम देने का जिम्मा इस्माइल नाम के आतंकी को सौंपी गई थी जो कि कश्मीर का ही रहने वाला है.
हमले में दो पाकिस्तानी आतंकी और दो स्थानीय आतंकी शामिल थे
इसके साथ ही पता चला है कि इस हमले में दो पाकिस्तानी आतंकी और दो स्थानीय आतंकी शामिल थे. इस ज्वाइंट माड्यूल ने इससे पहले भी कई वारदातों को अंजाम दिया है. एक मई को लश्कर और हिजबुल के आतंकियों ने मिलकर बैंक लूटा था जिसमें पांच पुलिसकर्मियों और दो गार्डों की हत्या कर दी थी.
इसके साथ ही तीन अन्य बैंक लूट की वारदातों को अंजाम दिया था
इसके साथ ही तीन अन्य बैंक लूट की वारदातों को अंजाम दिया था. नोटबंदी के बाद हुए नुकसान को पूरा करने के लिए आतंकियों ने कई बैंक घाटी में लूटे हैं. इसके सात ही यह भी पता चला कि वर्तमान समय में लश्कर और हिजबुल के कुल 200 आतंकी सक्रिया हैं जिनमें से करीब 110 कश्मीरी(लोकल आतंकी) हैं.
फायरिंग की घटना के वक्त अतंकियो के पास तीन दिन का राशन था
बताया जा रहा है कि आतंकी बस को कब्जे में लेना चाहते थे. फायरिंग की घटना के वक्त अतंकियो के पास तीन दिन का राशन था. वे काफिले से छूटी बसों पर ताक लगाए बैठे थे. हालांकि ये अकेली बस नहीं थी जो काफिले से अलग चल रही थी.