चंडीगढ़: चंडीगढ़ में 10 साल की बलात्कार पीड़ित लड़की ने शहर के एक अस्पताल में बच्ची को जन्म दिया था जिसे लगभग साढ़े तीन महीने के बाद महाराष्ट्र के एक दंपति ने अपना लिया है.


दंपति को बच्ची की जानकारी सेंट्रल अडाप्सन रिसोर्स अथारिटी की वेबसाइट से मिली थी जो कि 17 अगस्त को बच्ची के जन्म के बाद अपलोड की गई थी. महाराष्ट्र का वह परिवार पिछले सप्ताह बेहद खुशी के साथ बच्ची को अपने घर ले कर गया है. चंडीगढ़ के सामाजिक कल्याण विभाग ने इसकी पुष्टि की है.


बात दरअसल ये है कि 10 साल की नाबालिग लड़की का उसके दो मामाओं ने रेप किया था जिसके बाद वह प्रेगनेंट हो गई थी. घटना के बाद फास्ट ट्रैक कोर्ट में सुनवाई के दैरान दोनों मामाओं को दोषी पाया गया और अदालत ने उन्हे आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी.


सूत्रों के मुताबिक बच्ची को एक संपन्न परिवार ने अपनाया है जो उसकी अच्छी तरह देखभाल कर रहा है. इसी बीच, बाल कल्याण समिति की चेयरमैन संगीता वर्धन ने उन अफवाहों पर भी विराम लगा दिया है जिसमें यह कहा जा रहा था कि एक विदेशी दंपति बच्ची को अपना रहे हैं. संगीता वर्धन ने यह भी कहा कि बच्ची को गोद लेने में सारे नियमों का पालन किया गया है.


उन्होंने आगे कहा कि, कुछ दिन पहले परिवार बच्ची को घर ले जाने के लिए आया था. गोद लेने वाले परिवार की अन्य जानकारी को बच्ची के भविष्य के हितों को ध्यान में रखते हुए गोपनीय रखा गया है.


बच्ची के जन्म के बाद बलात्कार पीड़ित लड़की के माता-पिता ने बच्ची का चेहरा देखने से भी मना कर दिया था जिसके बाद उसे समाज कल्याण विभाग की देखरेख में रखा गया था. हालांकि बच्ची का जन्म समय से पहले हो गया था लेकिन अब वह पूरी तरह से स्वस्थ है.