नई दिल्ली: दिल्ली में पिछले 8 सालों में अपराध पांच गुना बढ़ गया है. अगर ये हाल देश की राजधानी का है तो बाकी शहरों में क्या होगा, इसका अंदाजा आंकड़ों से लगाया जा सकता है. दिल्ली में लूटपाट, डकैती और झपटमारी के हर दिन हजारों केस दर्ज किए जाते हैं. साल 2011 में दिल्ली में अपराध के 53 हजार 353 दर्ज किए गए. जो कि 2018 आते-आते 2 लाख 50 हजार के पार पहुंच गए है.


इस साल 2 लाख 25 हजार से ज्यादा मामले दर्ज


आंकड़ों के मुताबिक, इस साल अभी तक 2 लाख 25 हजार से ज्यादा मामले दर्ज किए जा चुके हैं, जबकि अभी साल गुजरने में दो महीने से ज्यादा का वक्त बचा है. आंकड़े बता रहे हैं कि किस तरह देश की राजधानी दिल्ली पर अपराधियों का बोलबाला है. हालांकि दिल्ली पुलिस अपराध कम होने का दावा कर रही है और साथ में ये कह रही है कि बदमाशों पर लगाम के लिए कड़े कानून की भी जरूरत है.


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आंकड़ों के मुताबिक,साल 2018 में जनवरी से सितंबर के बीच लूटपाट के 1847 केस दर्ज हुए, जबकि झपटमारी के 5034 केस दर्ज किए गए. वहीं, साल 2019 में जनवरी से सितंबर के बीच लूटपाट के 1558 केस दर्ज हुए जबकि  झपटमारी के 4762 केस दर्ज किए जा चुके हैं.


झपटमारी के हर दिन दर्ज होते हैं 18 मामले


मई 2019 के बाद से हालात बिगड़ते नजर आ रहे हैं. इस दौरान  लूटपाट के 986 केस और झपटमारी के 2109 दर्ज हो चुके हैं. यानी दिल्ली में हर दिन झपटमारी के करीब 18 मामले दर्ज होते हैं. लूट-झपटमारी की बढ़ती घटनाओं के पीछे बडी वजह ये है कि पुलिस ऐसे मामलों को गंभीरता से नहीं लेती.

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