नई दिल्ली: चाइल्ड राइट्स एंड यू (क्राई) की एक रिपोर्ट में बच्चों के खिलाफ होने वाले अपराध को लेकर चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं. क्राई ने अपने नए विश्लेषण में कहा कि बीते 10 वर्षो के दौरान भारत में नाबालिगों के खिलाफ यौन अपराध के मामलों में 500 प्रतिशत की वृद्धि हुई है. क्राई ने एक विश्लेषण किया है, जिसमें खुलासा हुआ है कि 2006 में नाबालिगों के खिलाफ यौन अपराध के 18,967 मामले दर्ज हुए थे. 2016 में इनकी संख्या बढ़कर 106,958 हो गई.


क्राई ने एक बयान में कहा, "इनमें से बच्चों के खिलाफ 50 प्रतिशत अपराध पांच राज्यों उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, दिल्ली और पश्चिम बंगाल में हुए हैं."


एनजीओ के मुताबिक, इस मामले में बच्चों के खिलाफ सबसे अधिक 15 प्रतिशत मामले उत्तर प्रदेश में दर्ज हुए. उसके बाद महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश में 14 और 13 प्रतिशत मामले दर्ज किए गए.


बयान के मुताबिक, "यह भी काफी चिंता का विषय है कि 36 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में 11 राज्यों में बच्चों के खिलाफ हुए अपराधों में 50 प्रतिशत से ज्यादा मामले यौन अपराध के थे और 36 राज्यों व केंद्रशासित प्रदशों में से 25 राज्यों में बच्चों के खिलाफ हुए अपराधों में एक तिहाई अपराध यौन अपराध के थे."


राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो के वर्ष 2016 के डाटा से पता चलता है कि भारत में बच्चों के विरुद्ध अपराधों में 2015 की अपेक्षा 14 प्रतिशत की वृद्धि हुई है.


पोक्सो अधिनियम के तहत वर्ष 2016 में दर्ज अपराध के विश्लेषण के आधार पर, भारत में बच्चों के साथ हुए अपराधों में एक तिहाई अपराध यौन अपराध के थे. इसके अनुसार, "भारत में हर 15 मिनट में नाबालिग के विरुद्ध यौन अपराध होता है."