नई दिल्ली: क्या दिल्ली में अब अपराध पर लगेगी लगाम? क्या दिल्ली में रेप केस कम हो जाएंगे? क्या दिल्ली के थानों में अब सलीके से पेश आएगी पुलिस? क्या लोग अब थाने जाने में डरेंगे नहीं? सवाल इसलिए क्योंकि क्योंकि आजकल दिल्ली पुलिस को दी जा रही है एक स्पेशल ट्रेनिंग. इस ट्रेनिंग का मकसद पुलिस की जिंदगी से तनाव को दूर करना है. अगर पुलिसवाले के जीवन से तनाव दूर हुआ तो उनके काम और व्यवहार दोनों में ही बदलाव आएगा.


दिल्ली पुलिस के सभी एसएचओ को दी जा रही है एक खास क्लास. इस क्लास में तनाव को दूर करने और अपने बिहेवियर में सुधार लाने के तरीके बताए जाएंगे. इस क्लास में पब्लिक के बीच अपनी छवि को सुधारने और दिल्ली में बढ़ते क्राइम पर लगाम लगाने के तरीके भी बताए जाएंगे.


डीसीपी ट्रेनिंग के मुताबिक तो अभी ये खास क्लास सिर्फ SHO और दिल्ली पुलिस के इंस्पेक्टर्स के लिए ही रखी गई है. इस क्लास में सभी को लीडरशिप, कम्युनिकेशन, स्ट्रेस मैनेजमेंट और टाइम मैनेजमेंट के ऊपर जानकारी दी जा रही है, ताकि तनावपूर्ण समय से निपटा जा सके.


डीसीपी ट्रेनिंग सुमन नलवा ने बताया कि इस क्लास का मकसद लीडरशिप को बेहतर बनाने का है. आजकल की लाइफ में खासतौर पर पुलिस की जो जिंदगी होती है वो काफी तनावपूर्ण होती है. इस क्लास की मदद से वो अपने तनाव को खत्म कर सकेंगे. भाग दौड़ की जिंदगी में तनाव के कारण बीमारियां हो जाती हैं. उन बीमारियों से निपटने में भी ये ट्रेनिंग काम आएगी.


इस ट्रेनिंग के लिए कुछ खास विशेषज्ञों को बुलाया जाता है. दिल्ली पुलिस के मास्टर ट्रेनर, आई टी दिल्ली के एक्सपर्ट, एमिटी से साइकोलॉजिस्ट, दिल्ली यूनिवर्सिटी के साइकोलॉजिस्ट इस क्लास को देने के लिए खासतौर पर आ रहे हैं. ट्रेनिंग सेशन के बाद जब हमने कुछ SHO से बात की तो उनका कहना था कि उन्हें इस ट्रेनिंग से बहुत कुछ सीखने को मिला और अगर भविष्य में ऐसी और क्लास होंगी तो अच्छा रहेगा.