कोलकाता: देश में सांप्रदायिक तनाव की खबरों के बीच कुछ ऐसी घटनाएं घट जाती हैं जिसे धार्मिक सद्भावना की बेहतरीन मिसाल कहा जा सकता है. कोलकाता में एक हिंदू परिवार ने मानवता दिखाते हुए एक मुस्लिम महिला को नया जीवन दान दिया है. हिंदू परिवार ने अपने ब्रेन डेड सदस्य के लीवर को एक मुस्लिम महिला को देकर उसकी जिंदगी बचा ली.


अंग दान कर दिया नया जीवन


29 वर्षीय शाहाना खातून लीवर सिरोसिस नामक बीमारी के अंतिम स्टेज में थीं. महिला मरीज के भाई शब्बीर अली को बहन के लिए लीवर डोनर की तलाश थी. कल्याण कुमार राय चौधरी के परिजनों को जब इस सिलसिले में खबर हुई तो उन्होंने चौधरी का अंग दान करने का फैसला किया. इसके बाद उन्होंने एसएसकेएम अस्पताल के डॉक्टरों को बताया. डॉक्टरों ने परिजनों की सहमति के बाद सफल लीवर ट्रांसप्लांट किया.


अस्पताल के डॉक्टर अभिजीत चौधरी ने एक अखबार को बताया, ''ये संयोग है कि डोनर और रिसीवर का धर्म अलग-अलग था. मौजूदा हालात में सांप्रदायिक सद्भाव की ये सबसे बेहतरीन मिसाल है. इससे साबित होता है कि सभी इंसान बराबर हैं.''


इंसानियत से बड़ा कोई धर्म नहीं


महिला मरीज के भाई ने कहा कि उन्हें अपने अंगों को दान करने का मौका मिलता है तो उन्हें जरा भी हिचकिचाहट नहीं होगा. चाहे रिसीवर का धर्म कुछ भी हो. हावड़ा जिला के रहने वाले चौधरी को दुर्घटना के बाद डॉक्टरों ने ब्रेन डेड घोषित कर दिया था. उनके परिजनों को इस बात की खुशी है कि उनके अंग दान कर देने के फैसले से एक नयी जिंदगी मिली है.


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