(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
2000 Rupees Note: दो हजार के नोट पर रोक, सितंबर तक बदलने की मोहलत, विपक्ष का मोदी सरकार पर वार | बड़ी बातें
2000 Rupees Note: आरबीआई के 2,000 रुपये के नोट को चलन से बाहर करने के ऐलान पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और सीएम अरविंद केजरीवाल सहित कई विपक्षी नेताओं ने केंद्र सरकार पर हमला किया.
2000 Rupees Note: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने 2,000 रुपये के नोट को सितंबर, 2023 के बाद चलन से बाहर करने की शुक्रवार (19 मई) को घोषणा की. हालांकि आप 2 हजार रुपये के नोट को बैंकों में 23 मई से जमा या बदल सकते हैं. आरबीआई ने बताया कि अभी चलन में मौजूद 2,000 रुपये के नोट 30 सितंबर तक वैध मुद्रा बने रहेंगे. इस बीच कांग्रेस, टीेएमसी और आम आदमी पार्टी ने सरकार पर निशाना साधा तो बीजेपी ने इसका बचाव किया. बड़ी बातें.
1. आरबीआई ने यह तो साफ नहीं किया है कि कोई व्यक्ति अधिकतम कितने मूल्य के 2,000 रुपये के नोट बैंकों में जमा या बदल सकता है, लेकिन उसने एक बार में अधिकतम 10 नोट ही बदलने का जिक्र किया है. यानी कि आप एक बार में सिर्फ 20 हजार रुपये जमा या बदल सकते हैं.
2. आरबीआई ने 2,000 रुपये के नए नोट छापना वित्त वर्ष 2018-19 में ही बंद कर दिया था और धीरे-धीरे उनका चलन काफी कम हो चुका है. रिजर्व बैंक के मुताबिक, ऐसा देखा गया है कि 2,000 रुपये मूल्य के नोट का इस्तेमाल अब लेन देन में आम तौर पर इस्तेमाल नहीं हो रहा है. इसी के साथ बैंकों के पास अन्य मूल्यों के नोट भी पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध होने से लोगों को नोट देने में कोई समस्या नहीं होगी.
3. आरबीआई ने कहा कि 2,000 रुपये के करीब 89 प्रतिशत नोट मार्च, 2017 से पहले ही जारी किए गए थे और अब उनका चार-पांच साल का अनुमानित जीवनकाल खत्म होने वाला है. मार्च, 2018 में 6.73 लाख करोड़ रुपये मूल्य के 2,000 रुपये के नोट चलन में मौजूद थे, लेकिन मार्च, 2023 में इनकी संख्या घटकर 3.62 लाख करोड़ रुपये रह गई. इस तरह चलन में मौजूद कुल नोट का सिर्फ 10.8 प्रतिशत ही 2,000 रुपये के नोट रह गये हैं जो मार्च, 2018 में 37.3 प्रतिशत थे.
4. पूर्व वित्त मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम ने कहा कि मुझे ऐसी ही उम्मीद थी कि आरबीआई 2 हजार रुपये के नोट को चलन से वापस लेगी. उन्होंने कहा कि 2 हजार रुपये का नोट मुश्किल से लेन-देन का माध्यम था. उन्होंने कहा कि हमने नवंबर 2016 में जो कहा था वो सही साबित हुआ.
वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम ने कहा कि नोटबंदी से 500 और 1000 रुपये के नोट को बंद करने के मूर्खतापूर्ण निर्णय को छिपाने के लिए 2 हजार रुपये का नोट लाया गया है. उन्होंने कहा कि नोटबंदी लाने के कुछ ही हफ्ते बाद आरबीआई पर दवाब बनाकर 500 का नोट लाया है. ऐसे में मुझे आश्चर्य नहीं होगा कि आरबीआई फिर से 1 हजार रुपये का नोट लेकर आ जाए.
5. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद कजेरीवाल ने कहा कि पहले बोले 2000 का नोट लाने से भ्रष्टाचार बंद होगा. अब बोल रहे हैं 2000 का नोट बंद करने से भ्रष्टाचार ख़त्म होगा. इसीलिए हम कहते हैं कि प्रधानमंत्री पढ़ा लिखा होना चाहिए. एक अनपढ़ पीएम को कोई कुछ भी बोल जाता है. उसे समझ आता नहीं है. भुगतना जनता को पड़ता है.
6. टीएमसी की चीफ और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सरकार पर हमला करते हुए कहा कि यह 2 हजार रुपये के नोट का धमाका नहीं था, बल्कि एक अरब भारतीयों के लिए एक बिलियन डॉलर का धोखा था. जागों मेरे प्यारे भाईयों और बहनो. नोटबंदी के कारण हमने जो पीड़ा झेली उसे भुलाया नहीं जा सकता. जिन लोगों ने ये पीड़ा दी है, उन्हें माफ नहीं किया जाना चाहिए.
7. यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि कुछ लोगों को अपनी गलती देर से समझ आती है. दो हजार रुपये के नोट के मामले में भी ऐसा ही हुआ है, लेकिन इसकी सजा इस देश की जनता और अर्थव्यवस्था ने भुगती है. शासन मनमानी से नहीं, समझदारी और ईमानदारी से चलता है.
8. बीजेपी नेता सुशील कुमार मोदी आरबीआई के फैसले पर कहा कि यह काले धन पर दूसरा सर्जिकल स्ट्राइक है. इससे जो बचा कुचा काला धन जो लोगों के पास है, वह बाहर निकलेगा. अमेरिका 100 डॉलर के नोट से काम चला सकता है तो भारत में 2000 रुपये की आवश्यकता क्या है? नोटबंदी के दौरान सरकार ने तात्कालिक तौर पर लोगों को राहत देने के लिए 2000 रुपये के नोट को छापना शुरू किया था. इससे आम आदमी को परेशानी नहीं होगी क्योंकि उनके पास 2000 रुपये के नोट नहीं है:
9. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने पीेएम मोदी का नाम लिए बिना कहा कि हमारे स्वयं-भू विश्वगुरु, पहले करते हैं, फिर सोचते हैं. उन्होंने कहा कि 8 नवंबर 2016 के विनाशकारी तुगलकी फरमान के बाद इतनी धूमधाम से पेश किए गए 2000 रुपये के नोट अब वापस लिए जा रहे हैं.
10. आम आदमी पार्टी के नेता सौरभ भारद्वाज ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि साल 2016 में नोटबंदी के बाद लोगों की नौकरी गई, लोगों की जान गई और अर्थव्यवस्था को नुकसान हुआ. केंद्र सरकार ने 2016 में दावा किया था कि काला धन औऱ भ्रष्टाचार खत्म होगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ. मैं इस बार उम्मीद करता हूं कि फैसला विशेषज्ञों की राय पर लिया होगा.