तिरुवनंतपुरम: केरल में रविवार को जीका वायरस से संक्रमण के तीन और मामले आए, जिनमें एक बच्चा भी शामिल है. इसके साथ ही राज्य में जीका वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या 18 हो गई है.


राज्य की स्वास्थ्य मंत्री वीणा जॉर्ज ने बताया कि सरकार ने तिरुवनंतपुरम, त्रिशूर और कोझिकोड चिकित्सा महाविद्यालय में जीका वायरस से संक्रमण की जांच करने की व्यवस्था की है. इसके साथ ही राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान संस्थान (एनआईवी) की अलप्पुझा इकाई में भी यह सुविधा है.


उन्होंने यहां जारी विज्ञप्ति में बताया, ‘‘22 महीने का एक बच्चा संक्रमित मिला है. इसके अलावा 46 वर्षीय एक व्यक्ति और 29 वर्षीय स्वास्थ्य कर्मी के भी जीका वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है. अबतक राज्य में 18 लोगों के संक्रमित होने की पुष्टि हो चुकी है.’’


जॉर्ज ने बताया कि दो बैच में 27 नमूने जांच के लिए भेजे गए, जिनमें से 26 में संक्रमण की पुष्टि नहीं हुई. आठ नमूने तीसरे बैच में भेजे गए थे, जिनमें से तीन में संक्रमण की पुष्टि हुई.


स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक जांच के लिए पुणे स्थित एनआईवी से 2100 किट प्राप्त हुए हैं, जिनमें से 1,000 किट तिरुवनतंपुरम चिकित्सा महाविद्यालय को, 300-300 किट त्रिशूर और कोझिकोड को और 500 किट एनआईवी, अलपुझा को भेजे गए हैं.


मंत्री ने विज्ञप्ति में बताया, ‘‘तिरुवनंतपुरम मेडिकल कॉलेज को 500 ट्रिप्लेक्स किट भेजे गए हैं, जो संक्रमण का पता लगाने के साथ-साथ डेंगू, चिकनगुनिया और जीका वायरस के आरएनए में अंतर कर सकता है जबकि 500 सिंगलप्लेक्स किट दिये गये हैं, जो केवल जीका वायरस का पता लगाते हैं.’’


पुणे स्थित एनआईवी ने स्वास्थ्य विभाग को निर्देश दिया है कि जीका वायरस संक्रमण के संदिग्ध मरीजों के रक्त के नमून एकत्र करे.



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