तिरुवनंतपुरम: केरल के तिरुवनंतपुरम में रविवार को एक ट्रक स्पेस रीसर्च की भारी भरकम मशीन लेकर पहुंचा. खास बात ये रही कि ये ट्रक पिछले साल महाराष्ट्र से रवाना हुई थी और अब जाकर ये केरल पहुंची. इस मशीन का इस्तेमाल तिरुवनंतपुरम के विक्रम साराभाई स्पेस सेंटर (वीएसएससी) में स्पेस प्रोजेक्ट के लिए किया जाना है.


इस कार्गो के साथ यात्रा कर रहे एक कर्मचारी ने बताया, "हमने 8 जुलाई, 2019 को महाराष्ट्र से यात्रा शुरू की थी. अब एक साल और चार राज्यों में यात्रा करने के बाद, हम तिरुवनंतपुरम पहुंच गए हैं. हम वीएसएससी में आज माल पहुंचाने की उम्मीद करते हैं."


ये ट्रक एक एयरोस्पेस होरिजेंटल ऑटोक्लेव ले जा रहा है जिसका उपयोग भारहीन सामग्री बनाने के लिए किया जाता है. यह वीएसएससी के लिए एक साल पहले महाराष्ट्र से चला था. अब आखिर में एक दिन में 5 किलोमीटर चलकर चार राज्यों से गुजरने के बाद यह तिरुवनंतपुरम पहुंचा.


इस ट्रक के साथ 32 सदस्य सफर कर रहे थे. इस विशालकाय मशीन का वजन लगभग 70 टन है. जानकारी के मुताबिक, यह नासिक में निर्मित किया गया था और जल्द ही इसे भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान परियोजना के लिए चालू कर दिया जाएगा.


एक स्टाफ ने बताया, “हम कार्गो के वजन को ले जाने के लिए रस्सियों का उपयोग कर रहे हैं. इसे दो धुरी, आगे और पीछे से खींचा जा रहा है. दोनों में 32 पहिए हैं और खींचने वाले में 10 पहिए हैं. खींचने वाला यह सब खींच रहा है. ड्रॉप डेक का वजन 10 टन और कार्गो का वजन 78 टन है. वजन दो धुरों पर वितरित किया जाता है." कर्मचारी के अनुसार, मशीन के ऊंचाई की वजह से वे इसे जहाज से लाने में असमर्थ थे. इसलिए ही उन्हें सड़क मार्ग का चयन करना पड़ा.


कोरोना का टीका तैयार करने में जुटी हैं 7 भारतीय कंपनियां, साल के आखिर तक आने की उम्मीद