वित्त मंत्री ने आसान भाषा में जीएसटी से जुड़ी सारी शंकाओं को दूर किया हैं. वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि GST के बाद देश में 17 टैक्स खत्म किए जा रहे हैं. इससे पूरे देश में सभी राज्यों में सामान की एक कीमत होगी. GST लागू होने के बाद इनडायरेक्ट ही नहीं डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन पर भी असर पड़ेगा. जीएसटी में सिर्फ़ कुछ चीजें ही 28 फीसदी टैक्स के दायरे में हैं जो सबसे ऊंचा टैक्स रेट है. जबकि पहले की टैक्स व्यवस्था में वस्तुओं पर 31-33 फीसदी के बीच भी टैक्स लगता था.
एक बात साफ है कि पैरों में पहनने वाली चप्पल और लग्जरी गाड़ी मर्सिडीज के लिए टैक्स रेट एक तो नहीं हो सकता. जीएसटी काउंसिल को मिले सुझावों पर विस्तृत चर्चा के बाद एक-एक वस्तु के लिए सही टैक्स स्लैब तय किए गए हैं. सारे देश में इन रेट्स पर सहमति बन गई है. जीएसटी सभी राज्यों-केंद्र ने मिलकर तय किया है कि टैक्स कितना होगा.
ARUN JAITELY LIVE UPDATE
11:00 AM जीएसटी के बाद महंगाई नहीं बढ़ेगी और इसके जरिए लोगों को आसान टैक्स व्यवस्था का फायदा मिलेगा. कुल मिलाकर सबके योगदान और सहयोग के बाद जीएसटी लागू हो रहा है, इस पर राजनीति नहीं होनी चाहिए.
10:58 AM जीएसटी लागू होने से कच्चे बिल का खेल खत्म होगा. कारोबारियों, मर्चेंट्स, एमएसएमई, आंत्रप्रेन्योर सबके लिए टैक्स फाइल करना, कैलकुलेट करना आसान होगा और उनका बिजनेस मजबूत होगा. इससे जॉब क्रिएशन में भी मदद मिलेगी.
10:55 AM नोटबंदी के बाद कुल कितना कैश वापस आया इसका आखिरी आंकड़ा देने में देरी इसलिए हो रही है क्योंकि रिजर्व बैंक को नोट गिनने की प्रक्रिया में ज्यादा समय लग रहा है. लाखों करोड़ रुपये के नोट गिनने के लिए भारी समय लगता है और रिजर्व बैंक आधुनिक मशानों और प्रक्रिया से कैश को गिन रहा है. इसका आधिकारिक आंकड़ा जल्द जारी कर दिया जाएगा.
10:52AM सरकारी एयरलाइंस एयर इंडिया का निजीकरण करना समझदारी भरा कदम होगा क्योंकि जो सरकारी एयरलाइंस 55,000 करोड़ रुपये के घाटे में चल रही है उसके लिए पैसे ना खपाकर उस रकम का प्रयोग देश के और निर्माण कामों में किया जा सकता है. विमानन के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव हो रहे हैं और निजी एयरलाइंस से हवाई सफर सस्ता हो रहा है. इस समय देश में 86 फीसदी लोग निजी एयरलाइन्स में सफर कर रहे हैं और हवाई किराए अब रेलवे के स्तर पर आ रहे हैं जिससे आगे चलकर 100 फीसदी लोग भी निजी एयरलाइंस में सफर कर सकते हैं.
10:50AM 2004 तक देश में कई रिफॉर्म हुए और 2004 से 2014 के बीच के 10 साल में देश में रिफॉर्म ठप्प हो गए. संसाधनों को बेचने के लिए नीलामी के अलावा और कोई विकल्प नहीं होगा जिससे पूरी तरह भ्रष्टाचार पर नकेल कसी गई है.
10:48 AM सरकार को रिफॉर्म भी करना है और चुनाव भी लड़ना है लिहाजा अच्छी गवर्नेंस को अच्छी राजनीति के साथ मिलाकर चलना होगा. आज की तारीख में जिस देश में स्ट्रक्चरल रिफॉर्म्स हो रहे हैं तो वो भारत में हो रहा है.
10:45 AM देश में सबसे ज्यादा बेरोजगारी कृषि सेक्टर में है और ये बेरोजगारी इंडस्ट्री और उद्योगों के जरिए दूर होगी.
10:42 AM जीएसटी से रियल एस्टेट पर बहुत असर होगा. देश में कालेधन का बड़ा हिस्सा रियल एस्टेट से आता और जाता है. जीएसटी काउंसिल ने इसके लिए अगले साल कोई कारगर तरीका निकालने पर काम कर रही है.
10:40 AM केंद्र और राज्य अपना टैक्स लगाने का अधिकार छोड़ दें और इसे जीएसटी काउंसिल के ऊपर छोड़ दिया जाए. राज्यों ने पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स और लिक्विड अल्कोहल के टैक्स रेट छोड़ने से इंकार किया है जिसके कारण अभी इन पर जीएसटी तय नहीं हुआ लेकिन आगे जीएसटी काउंसिल के पास इनके ऊपर टैक्स रेट तय करने का अधिकार होगा.
10:38 AM किसानों की कर्ज माफी राज्यों का मामला है और हर मामले को केंद्र सरकार अपने ऊपर नहीं ले सकती क्योंकि अलग-अलग राज्यों में किसानों की कर्ज की स्थिति भी अलग है और कारण भी.
10:34 AM मौजूदा केंद्र सरकार ने किसी बड़े उद्योग या उद्योगपति का कर्ज माफ नहीं किया. ये लोन भी 2008-2010 के समय के लोन हैं और एनपीए की समस्या बहुत पुरानी है. पाप कोई और करके गया था जिसे हल करने की जिम्मेदारी एनडीए सरकार पर आ गई है. इसका समाधान करने का तरीका केंद्र सरकार का इनसॉल्वेंसी लॉ ही हो सकता है. इनसॉल्वेंसी लॉ से कर्ज ना लौटाने वालों की सूची बनाई जा रही है और उन उद्योगों को दिवालिया घोषित कर उनसे कर्ज वापस दूसरे तरीके से लिया जाएगा. इसे किसानों की कर्जमाफी से तुलना करना किसी तरह से तर्कसंगत नहीं है. ये दोनों मामले बिलकुल अलग हैं.
10:32 AM देश में दालों का उत्पादन कम होने की वजह से 2 साल पहले दाम 200 रुपये प्रति किलो तक आ गए थे. पर मौजूदा केंद्र सरकार ने इसमें सुधार किया है और आज कीमतें सही स्तर पर हैं. वहीं जीएसटी में खाने-पीने की चीजों पर टैक्स न लगाकर या बेहद कम रेट पर लगाकर आम लोगों को राहत दी जा रही है.
10:30 AM जीएसटी के बाद देश के और लोग भी टैक्स के दायरे में आएंगे जिससे डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन पर भी असर होगा. टैक्स फाइल करने वाले लोगों की संख्या 92 लाख बढ़ गई है.
10:30 AM अगर सिर्फ मैन्यूफैकर्चर्ड गुड्स के ऊपर टैक्स लगाते और सर्विसेज के ऊपर नहीं लगाते तो गुड्स की कीमतों में भारी इजाफा होता. सर्विसेज पर टैक्स लगाना भी जरूरी था क्योंकि ये इकोनॉमी का बड़ा हिस्सा है. मैन्यूफैकर्चर्ड गुड्स, सर्विसेज का टैक्स जीएसटी से शुरुआत में बढ़ेगा.
10:28 AM देश में 81 कमोडिटी ऊंचे टैक्स रेट में आ रही थी. जीएसटी के बाद सिर्फ 28 कमोडिटी ही हायर टैक्स स्लैब में आएंगी. तो कुल मिलाकर कमोडिटी के ऊपर टैक्स कम होगा.
10:25 AM जीएसटी के बाद टैक्स फाइल करना भी आसान होगा. हर महीने का रिटर्न अगले महीने की 10 तारीख से पहले सॉफ्टवेयर में अपडेट करना होगा. छोटे और मध्यम व्यापारी को कोई इनवॉइस डिटेल नहीं देनी होगी.
10:22 AM पहले के टैक्स सिस्टम में टैक्सपेयर अपना टैक्स देने के साथ-साथ जो टैक्स नहीं देता उसका भी बोझ अप्रत्यक्ष रूप से उठा रहा था. जीएसटी के बाद ये स्थिति पूरी तरह बदल जाएगी.
10:20 AM जीएसटी की नई व्यवस्था में टैक्स चोरी करने वालों के लिए पकड़े जाने की संभावना ज्यादा है. लिहाजा टैक्स चोरी कम होगी और सरकार का टैक्स रेवेन्यू बढ़ेगा.
10:15 AM 75 लाख सालाना टर्नओवार वाला छोटा व्यापारी 1 फीसदी और 2 फीसदी तक के टैक्स स्लैब में आएगा. 20 लाख रुपये सालाना टर्नओवर वाले व्यापारी के लिए टैक्स नहीं लगेगा. लिहाजा जीएसटी से छोटे व्यापारियों को बड़ा फायदा होगा.
10:12 AM मान लीजिए एक कमोडिटी पर वैट, प्रोडक्ट और सर्विस टैक्स मिलाकर लगभग 31 फीसदी टैक्स पड़ता था जिसे जीएसटी के तहत हाईस्ट टैक्स स्लैब भी देखें तो 28 फीसदी रेट वाले स्लैब में डाला जाएगा. इससे निश्चित तौर पर व्यापारियों को फायदा होगा.
10:08 AM जीएसटी काउंसिल को मिले सुझावों पर विस्तृत चर्चा के बाद एक-एक वस्तु के लिए सही टैक्स रेट तय किए गए हैं. सारे देश में इन रेट्स को स्वीकार किया जा रहा है. जीएसटी लाने की प्रक्रिया बड़ी लंबी है और इसे संसद में पास कराना बड़ी उपलब्धि रही है.
10:08 AM टैक्स देने से बचना मौलिक अधिकार नहीं हो सकता और टैक्स ना देना देशभक्ति नहीं है.
10:07 AM वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि GST के बाद देश में एक टैक्स ,स्ट्रक्चर से पूरे देश में सामान की एक कीमत होगी.
10:06 AM केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली जीएसटी सम्मेलन में मंच पर पहुंच चुके हैं और जीएसटी से जुड़े सारे सवालों के जवाब दे रहे हैं.
10:00 AM जीएसटी सम्मेलन शुरु हो चुका है. गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स जो 1 जुलाई से लागू होने वाला है उसके सारे सवालों के जवाब आपको यहां दिए जाएंगे.
9: 55 AM वित्त मंत्री जीएसटी सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए पहुंचने वाले हैं. वित्तीय जगत और जानेमाने आर्थिक जानकार एबीपी न्यूज के जीएसटी सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए आ चुके हैं.
यहां आप वित्त मंत्री का भाषण पूरा LIVE देख सकते हैं.
इस खास कार्यक्रम में जीएसटी आने से पहले ही सारी शंकाओं, चिंताओं और सवालों को दूर करने की कोशिश की गई है. #1देशएकटैक्स की सोच को लेकर आयोजित ये कार्यक्रम आपके लिए जीएसटी को मुश्किल नहीं रहने देगा.