Taliban News: एक तरफ जहां तालिबान अफगानिस्तान में अपनी सरकार बनाने की कवायद में लगा है, वहीं तालिबानी कब्जे के बाद अफगानिस्तान से वहां के सांसद, पूर्व गवर्नर और खुद राष्ट्रपति अशरफ गनी के सीनियर एडवाइजर रिजवानुल्लाह अहमदजई भारत पहुंचे हैं. ये सभी लोग 15 अगस्त की ही देर शाम भारत पहुंचे थे, जब तालिबान ने काबुल पर अपना कब्जा जमाया था. राष्ट्रपति गनी के सीनियर एडवाइजर समेत इन सभी ने ABP News से खास बातचीत की.
राष्ट्रपति गनी के सीनियर एडवाइजर रिजवानुल्लाह अहमदजई ने कहा कि तालिबान को सभी पक्षों को साथ लेकर एक व्यापक सरकार का गठन करना चाहिए. उन्होंने कहा कि ये तालिबान पुराने तालिबान से अलग है और इस बार तालिबानी नेतृत्व पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई, डॉ. अब्दुल्ला और पूर्व मुजाहिद्दीन गुलबदीन हेकमतियार जैसे नेताओं से भी बात कर रहा है.
अमेरिका मांगे माफी
राष्ट्रपति गनी का बचाव करते रिजवानुल्लाह अहमदजई ने कहा कि अशरफ गनी ने कोई गलती नहीं की बल्कि गलती अमेरिका ने की है और अमेरिका को अफगानिस्तान की जनता के साथ किए धोखे के लिए जनता से माफी मांगनी चाहिए. भारत सरकार से सहायता की सराहना करते हुए रिजवानुल्लाह अहमदजई ने कहा कि भारत को अफगानिस्तान की नई तालिबानी सरकार से संबंध बनाकर रखना चाहिए.
वहीं ABP News से बात करते हुए अफगानिस्तान से भारत आए सांसद अब्दुल खालिक जजई ने भी कहा कि तालिबान को इस बार सभी पक्षों को साथ लेकर सरकार बनानी चाहिए और अगर तालिबान ऐसा नहीं करता है तो उसे अफगानिस्तान की जनता के विरोध का सामना करना पड़ेगा. इसी डेलिगेशन में भारत आए सांसद सैय्यद हसन ने कहा कि अमरुल्लाह सालेह भले विरोध की बात कर रहें हो लेकिन भविष्य में क्या होगा कहा नहीं जा सकता. फिलहाल ये उम्मीद करते हैं कि तालिबान दूसरे पक्षों को शामिल कर व्यापक सरकार का गठन करे.
वहीं अफगानिस्तान के पख्तीका प्लौविन्स के पूर्व गवर्नर मुजिब-ऊ-रहमान समकानी ने भी कहा कि तालिबान को सिर्फ सबको साथ लेकर ही सरकार नहीं बनाना चाहिए बल्कि औरतों के अधिकारों और बच्चों का भी ध्यान रखना चाहिए वरना तालिबान के लिए अफगानिस्तान पर हुकूमत करना आसान नहीं होगा. ABP News से बात करते हुए इन सभी अफगानी नेताओं ने अफगान नागरिकों की मदद करने के लिए भारत सरकार का शुक्रिया किया.
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