मुंबईः दाऊद गैंग का आतंकी मोड्यूल सामने आने के बाद मुंबई पुलिस ने तकरीबन 500 दाऊद गैंग के गुर्गों की जांच की. हालही में दिल्ली स्पेशल सेल की ओर से आतंकी साज़िश का पर्दाफ़ाश किया गया था. जिसमें पता चला की इस साज़िश के पीछे अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के नेटवर्क का इस्तेमाल किया गया था. इस मामले के बाद से मुंबई पुलिस और भी अलर्ट पर आ गई है और जितने भी दाऊद गैंग से जुड़े लोग हैं उन्हें एक्जामिन करने का काम शुरू कर दिया है. सूत्रों ने बताया की क्राइम ब्रांच ने अबतक क़रीब 500 ऐसे लोगों की जांच की है जो लोग दाऊद गैंग से जुड़े हुए थे या ऐसे किसी मामले में उनका नाम सामने आ चुका है.
सूत्रों ने बताया की कई एजेंसियां हैं जो की इस मामले की जांच अपने अपने नेटवर्क की मदत से कर रही है और इनका मानना है कि ये ऐसे आतंकी संघटना है जो की आतंकी साज़िश को अंजाम देना चाहती है वो अंडरवर्ल्ड के नेटवर्क का इस्तेमाल करके जैसे की 1993 में किया गया था. एजेंसी की माने तो आतंकी संघटन ने पाकिस्तान में पल रहे अंडरवर्ल्ड को बहुत बड़ी धनराशि दी है ताकि वो अपने नेटवर्क का इस्तेमाल कर १९९३ की तरह ही मेट्रो सिटी में धमाकों को अंजाम दे सके.
क्या है इनकी मोडस ओपरेंडी?
जांच एजेंसियों में बताया की अंडरवर्ल्ड ने इस बार ऐसे लोगों का इस्तेमाल किया है जिन लोगों का कोई नया या हालही में क्रिमिनल रिकॉर्ड नहीं है. मुंबई पुलिस के एक अधिकारी ने बताया की हम हर आरोपी पर नज़र रखते हैं जिनका नाम दाऊद गैंग से जुड़ा हुआ होता है और ख़ासकर उस गैंग के लिए क्राइम कर गिरफ़्तार हुआ होता है.
उन्होंने बताया कि अगर वो शख़्स 10 से 15 साल तक कोई नए मामले में शामिल नहीं होता है और एक सामान्य नागरिक की तरह जीवन जीने लगता है तो उसपर पुलिस की नज़र उस तरह से नहीं होती जिस तरह से पहले होती है. सूत्रों ने बताया की दाऊद ने ऐसे ही लोगों का चुनाव इस मामले में किया ताकि एजेंसियों को चकमा दिया जा सके. पर इस मामले के बाद मुंबई क्राइम ब्रांच ने अपनी ज़्यादातर यूनिट को हर उस शख़्स के घर जा जा कर उसकी जांच करने कहा है जो कभी भी किसी भी तरह से दाऊद गैंग से जुड़ा हुआ था और ऐसे भी लोगों की जांच की जा रही है जिनके ऊपर क्रिमिनल रिकॉर्ड नहीं है पर दाऊद गैंग से जुड़े होने का शक है.
एजेंसी को चौंकाने वाली बात जानकारी मिली
पुलिस की गिरफ़्त में अचानक से ऐसे आरोपी आए जिनके अंडरवर्ल्ड से कनेक्शन के रिकॉर्ड कई साल पुराने हैं, एजेंसियों को अब डर इस बात का है की कहीं ये सब महज़ एक छलावा तो नहीं क्या और भी स्लीपर सेल ऐसे हैं जो अब भी उनकी प्लानिंग पर काम कर रहे हैं?
एक अधिकारी ने बताया की साल 2006 में जब मुंबई की लोकल ट्रेनों में सीरियल बम धमाके हुए थे उसके एक महीने पहले भायखला रेलवे स्टेशन पर एक बम मिला था जिसे बीडीडीएस की मदद से डिफ़्यूज़ भी किया गया था. पर आज तक यह नहीं पता चला की वो बम वहां किसने रखा था और क्यूं रखा था और उसके एक महीने बाद ही मुंबई की लोकल ट्रेनों में एक के बाद एक कई धमाके हुए थे.
हालही में क्राइम ब्रांच की एक टीम अंडरवर्ल्ड की डी कंपनी से जुड़े फ़ज़लु रहमान ख़ान उर्फ़ मूज्जु के घर भी गई थी पर वो वहां नहीं मिला, क्राइम ब्रांच फ़िलहाल उसकी लोकेशन निकाल रही है.
मूज्जु का ना मिलना आख़िर क्यों चिंता का विषय?
पिछले साल मुंबई पुलिस की एंटी एक्स्टोर्शन सेल ने फ़ज़लु रहमान खान उर्फ़ मूज्जु नाम के शख़्स को गिरफ़्तार किया था ये दाऊद इब्राहिम के करीबी फ़हीम मचमच का ख़ास गुर्गा है तभी पूछताछ के दौरान जान मोहम्मद शेख़ का नाम इसने लिए था बताया था की वो भी इसके साथ दाऊद के लिए काम करता है. जान मोहम्मद शेख़ वही संदिग्ध आतंकी है जिसे दिल्ली स्पेशल सेल ने राजस्थान के कोटा से गिरफ़्तार किया था.
उस समय मूज्जु और दो लोगों को पुलिस ने साउथ मुंबई के एक व्यापारी की हत्या की साज़िश रचने के आरोप में गिरफ़्तार किया था. इस हत्या की साज़िश दाऊद के भाई अनिस इब्राहिम के लिए रची गई थी जिसके लिए लोगों को तैयार करने का काम फ़हीम मचमच ने किए था. फ़ज़लु रहमान ख़ान ने अपने लोगों के नाम क्राइम ब्रांच को बताए थे जिसमें से एक नाम जान मोहम्मद शेख़ का भी था .
इसके अलावा दाऊद गैंग से जुड़े अनवर इक़बाल मोहम्मद यूसुफ़ काश्मीरी; आसिफ़ दाढ़ी; टिंकु पांडे और इमरान हनीफ़ कालिया उर्फ़ हनीफ़ कालिया के घर भी पुलिस की टीम गई थी और उन्हें एक्जामिन किया गया, सूत्रों ने बताया ये आरोपी घर पर मिले जब पुलिस वहां वेरिफ़िकेशन के लिए गई थी.
NHRC ने 'फर्जी मुठभेड़ों' के मामले पर असम के डीजीपी से मांगी कार्रवाई रिपोर्ट, 4 सप्ताह का दिया समय
Weather Update: दिल्ली-एनसीआर के कई इलाकों में जमकर बरसे बादल, अगले तीन-चार दिनों तक बारिश का अनुमान