किसान बिल को काला कानून कहने पर कृषि मंत्री बोले- कांग्रेस का नेतृत्व बौना हो गया, उनकी कोई हैसियत बची नहीं
कृषि मंत्री ने किसानों को विश्वास दिलाते हुए कहा कि इन बिलों को कार्यान्वित होने दीजिए, निश्चित रूप से आपके जीवन में क्रांतिकारी बदलाव आएगा.
नई दिल्ली: कांग्रेस द्वारा किसान बिलों को काला कानून कहने पर केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने पार्टी के नेतृत्व पर बड़ा हमला बोला है. न्यूज एजेंसी एएनआई से बातचीत में कृषि मंत्री ने कहा, "कांग्रेस का नेतृत्व बौना हो गया है. कांग्रेस में जो अच्छे लोग हैं उनकी पूछ खत्म हो गई है. जिन लोगों के हाथ में नेतृत्व है उनकी कोई हैसियत देश में बची नहीं है. उनकी अपनी पार्टी में ही कोई नहीं सुनता है."
कृषि मंत्री ने आगे कहा, "ये लोग कुछ भी गलत बात बोलकर देश को गुमराह करने की कोशिश करते हैं. मैं कांग्रेस के नेताओं से कहना चाहता हूं कि अगर वह बहस करना चाहते हैं तो विधेयक के प्रावधानों पर करें. सरकार जवाब देगी. थोड़े दिनों में ये स्थिति हो जाएगी कि किसान ही उन्हें जवाब देगा."
#WATCH Congress leadership is dwarfed. Good ones in the party aren’t being heard & those helming it have no standing in the nation. Their own party doesn’t listen to them. They're making baseless arguments to mislead nation: Agri Min on Congress calling #FarmBills ‘kaala kanoon’ pic.twitter.com/3fqVuZimQ7
— ANI (@ANI) September 24, 2020
कृषि मंत्री का पंजाब CM से सवाल कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने पंजाब CM से सवाल से पूछते हुए कहा, "आपने चुनाव के समय अपने घोषणा पत्र में क्यों कहा था कि आप APMC एक्ट को बदल देंगे, टैक्स को खत्म कर देंगे और अंतरराज्यीय व्यापार को बढ़ावा देंगे. कांग्रेस अपने नेशनल घोषणा पत्र में भी ये बात रखती है और राज्य घोषणापत्र में भी."
उन्होंने आगे कहा, 'कांग्रेस का कोई भी नेता चाहे वो केंद्र का हो या राज्य का हो उसे पहले ये बोलना चाहिए कि हमने जो घोषणा अपने घोषणा पत्र में की थी अब हम उससे पलट रहे हैं तो मैं उनकी बात सुनने को तैयार हूं.'
'किसान बिल से क्रांतिकारी बदलाव आएगा' कृषि मंत्री ने किसानों को विश्वास दिलाते हुए कहा कि इन बिलों को कार्यान्वित होने दीजिए, निश्चित रूप से आपके जीवन में क्रांतिकारी बदलाव आएगा. उन्होंने कहा, "किसानों के हित में एक के बाद एक कई कदम उठाए गए लेकिन इन सबके बावजूद जब तक कानूनों में बदलाव नहीं होता तब तक किसान के बारे में हम जो उन्नति का सोच रहे थे वो संभव नहीं थी इसलिए भारत सरकार ने दो अध्यादेश बनाए जिनको अब जारी कर दिया गया है."
मंत्री ने आगे कहा, "दोनों विधेयक निश्चित रूप से किसान को जो APMC की जंजीरों में जकड़ा हुआ था उससे आजाद करने वाले हैं. हमारा जो एक्ट है वो किसान को मंडी के बाहर किसी भी स्थान से किसी भी स्थान पर अपनी मर्जी के भाव पर अपना उत्पाद बेचने की स्वतंत्रता देता है."
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