कांग्रस के बड़े रणनीतिकार अहमद पटेल के निधन से ना सिर्फ उनकी पार्टी बल्कि पूरा राजनीतिक जगत शोकाकुल है. राजनीति में उनकी गहरी समझ और सूझबूझ के चलते अहमद पटेल को ना सिर्फ ‘चाणक्य’ कहा जाता था बल्कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के बतौर राजनीतिक सलाहकार रहते हुए उन्होंने कांग्रेस को नई ऊंचाई दी. अहमद पटेल के बारे में कहा जाता था कि वे गांधी परिवार के बाद कांग्रेस में सबसे ताकतवार शख्स थे. 71 साल की उम्र में दुनिया को अलविदा करने वाले अहमद पटेल के जाने से कांग्रेस में जो जगह खाली हुई उसे शायद ही कोई भर पाएगा.
अहमद पटेल को साल 2018 में कांग्रेस पार्टी का कोषाध्यक्ष बनाया गया था. इससे पहले, पार्टी के दिग्गज नेता और गांधी परिवार के करीबी मोतीलाल वोरा के पास यह जिम्मेदारी थी. मोतीलाल वोरा करीब दो दशक तक बतौर कोषाध्यक्ष इस जिम्मेदारी को संभाला था. बढ़ती उम्र का हवाला देकर राहुल गांधी ने 2018 में उन्हें इस जिम्मेदारी से मुक्त किया था. मोतीलाल वोरा और अहमद पटेल के बारे में कहा जाता है कि वे दोनों काफी करीबी थे.
21 अगस्त 1949 को अहमद पटेल का जन्म गुजरात में हुआ था. अहमद पटेल तीन बार लोकसभा के चुनाव में जीत हासिल कर चुके थे. इसके अलावा 5 बार राज्यसभा के सांसद भी रह चुके हैं. अहमद पटेल 1977 में 28 साल की उम्र में पहली बार भरूच से लोकसभा चुनाव जीतकर संसद पहुंचे थे.
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