हैदराबाद: एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने सवाल पूछा कि चीन से प्नधानमंत्री स्तर की वार्ता के बावजूद क्या परिणाम निकला?


ओवैसी ने कहा कि पिछले छह साल में चीन के साथ प्रधानमंत्री स्तर की बातचीत हुई. इसके बावजूद चीन ने गलवान घाटी में भारतीय क्षेत्र पर कब्जा कर लिया. ओवैसी ने ट्वीट किया, ‘‘पिछले छह साल में प्रधानमंत्री ने अपने चीनी समकक्ष के साथ 18 बार बातचीत की. ’’ उन्होंने कटाक्ष किया, "प्रधानमंत्री की वार्ता का क्या परिणाम निकला? चीन गलवान घाटी में भारतीय क्षेत्र पर कब्जा कर रहा है. देश के 20 जवान शहीद हो गए. अब केवल यही पलटवार हो सकता है कि अपना क्षेत्र भारत वापस ले.’’






ओवैसी का बयान पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में हुई झड़प में भारत के 20 जवानों की शहादत के बाद आया है. 15-16 जून को पूर्वी लद्दाख में गलवान घाटी में चीनी सैनिकों के साथ भारतीय फौजों की झड़प हुई थी. जिसमें भारत के 20 जवानों को अपने प्राण की आहूति देनी पड़ी थी. सैनिकों की शहादत की खबर आते ही चीन के खिलाफ लोगों में गुस्सा उबल पड़ा. सेलेब्रिटी से लेकर राजनेता तक ने चीन की हरकत का विरोध किया. लोग भारत में चीनी सामान के बहिष्कार के लिए आंदोलन चला रहा हैं. कांग्रेस चीनी-भारतीय सैनिकों में झड़प के बाद लगातार केंद्र सरकार पर हमलावर है. राहुल गांधी आक्रामकता से केंद्र सरकार पर हमलावर हैं. शहीद सैनिकों के सम्मान में उन्होंने अपना जन्म दिन नहीं मनाने का फैसला किया है. कांग्रेस की तरफ से राज्य इकाइयों को इस बारे में संदेश दे दिया गया.


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