Pawan Kalyan On Andhra Pradesh Govt: कथित आपत्तिजनक टिप्पणी मामले में आंध्र प्रदेश सरकार की ओर से एक्शन लिए जाने पर जन सेना पार्टी प्रमुख पवन कल्याण ने पलटवार किया है. उन्होंने यहां तक कहा कि वह जेल जाने को तैयार हैं लेकिन अदालतें जगन मोहन रेड्डी की रक्षा कैसे कर सकती है?
पवन कल्याण ने आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी पर आरोपियों का समर्थन करने का आरोप लगाया. आंध्र प्रदेश सरकार ने आपत्तिजनक टिप्पणी मामले में जन सेना प्रमुख पवन कल्याण के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू करने के लिए गुरुवार (20 जुलाई) को सरकारी आदेश जारी किया. इसमें आरोप लगाया गया है कि पवन कल्याण ने 9 जुलाई को एलुरु में एक जनसभा मे वार्ड और ग्राम स्वयंसेवकों पर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी.
आंध्र सरकार के एक्शन पर क्या बोले पवन कल्याण?
न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, गुरुवार (20 जुलाई) को ही पवन कल्याण ने कहा, ''हमें एक सरकारी आदेश प्राप्त हुआ, जिसमें कहा गया कि पवन कल्याण पर मुकदमा चलाया जाना चाहिए... मैं आपको (वाईएस जगन मोहन रेड्डी) बता रहा हूं कि अगर आप मुझे गिरफ्तार करेंगे तो कुछ नहीं हो सकता. मैं जेल जाने को तैयार हूं...''
उन्होंने आगे कहा, ''अदालतें जगन की सुरक्षा कैसे कर सकती हैं? वह आरोपियों का समर्थन कर रहे हैं. मैंने स्वयंसेवकों को दोष नहीं दिया और मैंने केवल व्यवस्था को दोषी ठहराया. व्यक्तिगत डेटा हर एक व्यक्ति के लिए अहम है. मैंने व्यक्तिगत डेटा चोरी के मुद्दे पर गृह मंत्री अमित शाह से बात की है.''
पवन कल्याण के खिलाफ सरकारी आदेश में क्या कहा गया?
सरकारी आदेश में आरोप लगाया गया है कि पवन कल्याण ने अपनी वाराही यात्रा के दौरान सरकार और स्वयंसेवी प्रणाली के खिलाफ मानहानिकारक, अपमानजनक और द्वेषपूर्ण बयानों का इस्तेमाल किया था. इसमें कहा गया कि यह सुझाव देना कि स्वयंसेवकों की वजह से 29,000 महिलाएं गायब हो गईं और उन पर डेटा चोरी का हिस्सा होने का आरोप लगाना बेहद आपत्तिजनक है.
सरकारी आदेश में कहा गया कि पवन कल्याण ने आरोप लगाया था कि मुख्य रूप से एकल महिलाओं को निशाना बनाया जा रहा है. कल्याणकारी योजनाओं के नाम पर जानकारी एकत्र की जा रही है और इसे मानव तस्करी के लिए असामाजिक तत्वों को भेज दिया जाता है. सरकारी आदेश में पवन कल्याण की टिप्पणियों का विस्तार से जिक्र किया गया.
इसी के साथ आदेश में कहा गया कि सरकार ने मामले की सावधानीपूर्वक जांच करने के बाद और आपराधिक प्रक्रिया संहिता, 1973 की धारा 199 (4) (बी) के तहत प्रदत्त शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए संबंधित लोक अभियोजक को पवन कल्याण नामक व्यक्ति के खिलाफ सक्षम कोर्ट के समक्ष शिकायत करने की मंजूरी दे दी है.
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