मुंबई: कारोबारी मुकेश अंबानी के आवास के पास एक एसयूवी में विस्फोटक मिलने का मामला अभी सुलझा नहीं है. इस मामले की जिम्मेदारी जैश-उल-हिंद संगठन ने ली है. वहीं अब जैश-उल-हिन्द पोस्टर मामले में मुंबई पुलिस अधिकारी (DCP) से पूछताछ होगी. मुंबई पुलिस के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी को विस्फोटक भरी कार मिलने के मामले में बयान दर्ज कराने के लिए कहा गया है.
मुंबई पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी से एनआईए और एटीएस दोनों ही एजेंसियां जैश-उल-हिंद के पोस्टर के संबंध में पूछताछ करेगी. बता दें कि जैश-उल-हिंद का पोस्टर बीते दिनों सुबह के वक्त दुनिया के सामने आया था, उसके जवाब में शाम के वक्त एक नया पोस्टर सामने आया, जिसे मुंबई पुलिस के एक अधिकारी ने जारी किया था. 28 फरवरी की शाम को मुंबई पुलिस के अधिकारी ने जैश-उल-हिंद का पोस्टर साझा किया था.
सचिन वाजे की गिरफ्तारी
सूत्रों के मुताबिक सचिन वाजे ने जैश-उल-हिंद का यह लेटर मुंबई पुलिस के अधिकारी को दिया था और अधिकारी ने वह पोस्टर मीडिया में जारी किया था. वहीं इस मामले में नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (NIA) ने मुंबई पुलिस के अधिकारी सचिन वाजे को गिरफ्तार कर लिया है. वाजे को आज अदालत में पेश किया जाएगा. लंबी पूछताछ के बाद वाजे की गिरफ्तारी हुई है.
आतंकी से हुई पूछताछ
वहीं इस मामले की जांच के सिलसिले में दिल्ली पुलिस की एक टीम ने शनिवार को तिहाड़ जेल में इंडियन मुजाहिद्दीन के आतंकी तहसीन अख्तर से लगभग चार घंटे पूछताछ की. तिहाड़ जेल में अख्तर की बैरक से बरामद एक मोबाइल फोन के बारे में संदेह है कि इसका इस्तेमाल एक टेलीग्राम चैनल बनाने के लिए किया गया.
इस चैनल का इस्तेमाल अंबानी के घर एंटीलिया के पास 25 फरवरी को जिलेटिन की छड़ों से लदा वाहन खड़ा करने की जिम्मेदारी लेने के लिए जैश-उल-हिंद नाम के एक समूह के जरिए किया गया था. बता दें कि अख्तर को 2014 में गिरफ्तार किया गया था, जब वह आतंकी समूह इंडियन मुजाहिद्दीन का सरगना था.
यह भी पढ़ें:
Antilia Case: सचिन वाजे ने NIA को बताया- विस्फोटक रखने के मामले में मैं सिर्फ एक हिस्सा हूं
एंटीलिया के पास विस्फोटक लदी गाड़ी मिलने का मामला, तिहाड़ जेल इलाके में बना था जैश-उल-हिंद का टेलीग्राम चैनल