भरोसेमंद स्रोतों से ही दूरसंचार उपकरणों की खरीद को मिलेगी मंजूरी, चीन को लगेगा झटका
विधि, दूरसंचार एवं आईटी मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली सुरक्षा पर मंत्रिमंडलीय समिति की बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि यह निर्देश राष्ट्रीय सुरक्षा के दृष्टिकोण से तैयार किया गया है.
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नई दिल्ली: संचार नेटवर्क की सुरक्षा को मजबूत करने के लिए सुरक्षा पर मंत्रिमंडलीय समिति ने बुधवार को दूरसंचार क्षेत्र पर राष्ट्रीय सुरक्षा निर्देश जारी किये. इसके तहत सेवाप्रदाताओं के लिए उपकरणों की खरीद भरोसेमंद स्रोतों से करना अनिवार्य होगा. सरकार के इस फैसले से चीन से दूरसंचार उपकरणों पर नए ‘अंकुश’ लग सकते हैं.
विधि, दूरसंचार एवं आईटी मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली सुरक्षा पर मंत्रिमंडलीय समिति की बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि यह निर्देश राष्ट्रीय सुरक्षा के दृष्टिकोण से तैयार किया गया है.
प्रसाद ने कहा, ‘‘देश की राष्ट्रीय सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए मंत्रिमंडल ने दूरसंचार क्षेत्र पर राष्ट्रीय सुरक्षा निर्देशों को मंजूरी दे दी है.’’ इस निर्देश के प्रावधान के तहत सरकार देश के दूरसंचार नेटवर्क के लिए भरोसेमंद स्रोतों तथा भरोसेमंद उत्पादों की सूची जारी करेगी.
प्रसाद ने कहा, ‘‘भरोसेमंद उत्पादों का तौर-तरीका अधिकृत प्राधिकरण राष्ट्रीय साइबर सुरक्षा संयोजक द्वारा निकाला जाएगा. दूरसंचार सेवाप्रदाता ऐसे नए नेटवर्क उपकरणों को ही शामिल कर सकेंगे, जिन्हें भरोसेमंद करार दिया जाएगा.’’
हाल के महीनों में भारत ने दूरसंचार से लेकर बिजली क्षेत्र में चीन के उपकरणों के आयात पर राष्ट्रीय सुरक्षा कारणों का हवाला देकर प्रतिबंध लगाया है. इन उपकरणों पर स्पाईवेयर या ‘मालवेयर’ की चिंता को लेकर रोक लगाई गई है.
भरोसेमंद स्रोत और उत्पाद की सूची उप-राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार की अगुवाई वाली समिति की मंजूरी पर तैयार की जाएगी. प्रसाद ने कहा, ‘‘इस समिति में संबंधित विभागों और मंत्रालयों के सदस्यों के अलावा उद्योग के दो सदस्य और स्वतंत्र विशेषज्ञ भी शामिल रहेंगे. इस समिति को दूरसंचार पर राष्ट्रीय सुरक्षा समिति कहा जाएगा.’’
इसके अलावा सरकार ऐसे स्रोतों की सूची भी तैयार करेगी जिनसे कोई खरीद नहीं की जा सकेगी. मंत्री ने स्पष्ट किया कि ताजा निर्देश के तहत सेवाप्रदाताओं के नेटवर्क में पहले से लगाए गए उपकरणों को बदलना अनिवार्य नहीं होगा.
पिछले साल सरकार ने अंतरराष्ट्रीय मोबाइल उपकरण पहचान (आईएमईआई) के बिना चीन के हैंडसेटों के आयात पर रोक लगाई थी. आईएमईआई नंबर प्रत्येक मोबाइल हैंडसेट की 15 अंक की विशिष्ट संख्या होती है. इसके जरिये चोरी हुए हैंडसेटों से कॉल को रोका जा सकता है और साथ ही सुरक्षा एजेंसियां इसका पता लगा सकती हैं.
प्रसाद ने कहा कि इसके अलावा इस निर्देश से वार्षिक रखरखाव अनुबंध भी प्रभावित नहीं होगा. इसमें घरेलू कंपनियों द्वारा विनिर्मित दूरसंचार उपकरणों को भरोसेमंद श्रेणी में डालने का प्रावधान है.
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