नई दिल्ली: भारत ने लद्दाख को अलग केंद्र शासित क्षेत्र बनाने के अपने कदम पर चीन के विरोध को खारिज करते हुए इसे अपने देश का आंतरिक मामला बताया है. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने मंगलवार को कहा कि भारत अन्य देशों के आंतरिक मामलों में टिप्पणी नहीं करता और इसी तरह की उम्मीद वह अन्य देशों से भी करता है.


इस संबंध में चीन की टिप्पणी को लेकर पूछे गये सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि लद्दाख को केंद्र शासित क्षेत्र बनाया जाना देश का आंतरिक मामला है.


बता दें कि संसद में पांच अगस्त को पेश ‘जम्मू कश्मीर पुनर्गठन विधेयक, 2019’ में लद्दाख को एक नये केंद्र शासित क्षेत्र के तौर पर गठित करने का प्रस्ताव है. जम्मू कश्मीर और लद्दाख को केंद्रशासित प्रदेश बनाने पर उठे सवालों पर गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि लद्दाख को वहां के लोगों की मांग पर केंद्रशासित प्रदेश बनाया गया है.


इसके साथ ही गृह मंत्री ने सदन को आश्वासन दिया कि स्थिति सामान्य होते ही जम्मू कश्मीर का पूर्ण राज्य का दर्जा बहाल करने में इस सरकार को कोई परेशानी नहीं. गृह मंत्री ने कहा कि जवाहरलाल नेहरू ने कहा था कि 370 अस्थाई है, इसे उचित समय पर हटा दिया जाएगा. लेकिन इसे हटाने में 70 साल लग गये. उन्होंने ने कहा, "हमें जम्मू कश्मीर का पूर्ण राज्य का दर्जा बहाल करने में 70 साल नहीं लगेंगे."


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