अनुच्छेद 370 पर सरकार के कदम का सिंधिया ने किया समर्थन, कहा- ये राष्ट्रहित में लिया गया फैसला
कांग्रेस के सीनियर नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि ये फैसला राष्ट्रहित में लिया गया है. ऐसे में वे इस फैसले का समर्थन करते हैं. हालांकि उन्होंने ये भी कहा कि बेहतर होता कि संवैधानिक प्रक्रिया का पूर्ण रूप से पालन किया जाता.
नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने और जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल को आज लोकसभा ने मंजूरी दे दी. सोमवार को ये राज्यसभा से पास हुआ था. कांग्रेस ने इसका विरोध किया लेकिन पार्टी के कई नेताओं ने सरकार के इस फैसले का समर्थन किया. अब इस लिस्ट में कांग्रेस के दिग्गज नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया का नाम भी जुड़ गया है. सिंधिया ने भी सरकार के इस फैसले का समर्थन किया है.
कांग्रेस के सीनियर नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने ट्वीट किया, ''#जम्मूकश्मीर और #लद्दाख को लेकर उठाए गए कदम और भारत देश मे उनके पूर्ण रूप से एकीकरण का मैं समर्थन करता हूँ. संवैधानिक प्रक्रिया का पूर्ण रूप से पालन किया जाता तो बेहतर होता, साथ ही कोई प्रश्न भी खड़े नही होते. लेकिन ये फैसला राष्ट्र हित मे लिया गया है और मैं इसका समर्थन करता हूँ.''
#जम्मूकश्मीर और #लद्दाख को लेकर उठाए गए कदम और भारत देश मे उनके पूर्ण रूप से एकीकरण का मैं समर्थन करता हूँ। संवैधानिक प्रक्रिया का पूर्ण रूप से पालन किया जाता तो बेहतर होता, साथ ही कोई प्रश्न भी खड़े नही होते। लेकिन ये फैसला राष्ट्र हित मे लिया गया है और मैं इसका समर्थन करता हूँ।
— Jyotiraditya M. Scindia (@JM_Scindia) August 6, 2019
बता दें कि इससे पहले कांग्रेस नेता जनार्दन द्विवेदी, दीपेंद्र हुड्डा और अदिति सिंह ने सरकार के फैसले का समर्थन किया. आज बिहार के सुपौल से कांग्रेस की पूर्व सांसद रंजीत रंजन ने भी सरकार के फैसले को सही बताया. इसके अलावा बीजेपी छोड़कर कांग्रेस का दामन थामने वाले कीर्ति आजाद ने भी जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म होने पर खुशी जताई है.
सोमवार को जनार्दन द्विवेदी ने इस फैसले को राष्ट्रीय संतोष की बात कहा था. वहीं दीपेंद्र हुड्डा ने कहा था कि 21वीं सदी में 370 का कोई औचित्य नहीं है. इसके अलावा रायबरेली से कांग्रेस की विधायक अदिति सिंह ने सरकार के फैसले को हिस्टोरिकल डिसिजन बताया था. वहीं आज कांग्रेस की पूर्व सांसद रंजीत रंजन ने कहा कि उनकी नजर में ये सही हुआ है. उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 को हटना ही था.
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