Arvind Kejriwal Arrest Case: 'केजरीवाल और हवाला ऑपरेटर्स के बीच मिली चैट', SC में बोली ED, गिरफ्तारी वाली याचिका पर फैसला रखा सुरक्षित
Arvind Kejriwal Arrest Hearing: कथित शराब घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में गिरफ्तार हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपनी गिरफ्तारी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका डाली है.
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Arvind Kejriwal Arrest Case: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में शुक्रवार (17 मई) को सुनवाई हुई. केजरीवाल की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया है. कोर्ट ने कहा कि मामले से जुड़े पक्ष अगर अपनी दलीलों पर लिखित नोट जमा करना चाहते हैं तो वह ऐसा एक सप्ताह में कर सकते हैं.
इससे पहले मामले पर ईडी के वकील एस वी राजू ने अपनी बात रखी. सुनवाई के दौरान ईडी ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) आज ही आम आदमी पार्टी को आरोपी बनाते हुए चार्जशीट ट्रायल कोर्ट में फाइल करेगी. ईडी ने अहम बयान देते हुए कहा कि हमें अरविंद केजरीवाल और हवाला ऑपरेटरों के बीच हुआ चैट मिला है. सॉलिसीटर जनरल ने कहा कि इन्होंने अपने फोन नष्ट कर दिए. हमें हवाला ऑपरेटरों के पास से यह चैट हासिल हुई.
कोर्ट में दोनों पक्षों के बीच हुई जबरदस्त बहस
उन्होंने कहा, "हर मामले में आरोपी ऐसा ही कहेंगे. इससे जांच में देरी होगी. अगर ऐसा किया जाता है तो यह भानुमती का पिटारा खोल देगा. इससे जमानत के चरण में एक मौका मिलता है." जस्टिस खन्ना ने सिंघवी से कहा कि अब ईडी का कहना है कि उसके पास चुनाव प्रचार के लिए आंध्र प्रदेश से गोवा तक मनी ट्रेल है. जवाब में सिंघवी ने कहा ''लेकिन गिरफ्तारी के आधार पर रत्ती भर भी सबूत नहीं है.''
केजरीवाल के वकील ने सुप्रीम कोर्ट में क्या कहा?
सिंघवी का कहना है कि जांच अधिकारी (आईओ) को पीएमएलए की धारा 19 (गिरफ्तारी की प्रक्रिया) के तहत "गिरफ्तारी की आवश्यकता" दिखानी होगी. उन्होंने दावा किया, “आईओ को चार कारकों पर अपना ध्यान देना होगा - गिरफ्तारी क्यों, क्या वास्तव में गिरफ्तारी जरूरी है, गिरफ्तारी का उद्देश्य क्या है और गिरफ्तारी से क्या उद्देश्य हासिल होगा? चार कारकों पर ध्यान देना गिरफ्तारी के आधार पर दिखना चाहिए.” वरिष्ठ वकील का कहना है कि केजरीवाल के मामले में, आईओ के पास जो भी सामग्री है वह अगस्त 2023 से पहले की है.
जस्टिस खन्ना ने सिंघवी को ईडी की दलीलों से रूबरू कराते हुए कहा, “शराब नीति में बदलाव हुआ था. बिचौलियों को 5% से 6% की भारी छूट मिली. बदलाव की पृष्ठभूमि 100 करोड़ रुपये थी. इसके जवाब में सिंघवी ने कहा, ''यह दिखाने के लिए कुछ भी नहीं है कि पैसा मेरे पास आया और फिर गोवा चला गया.''
सिंघवी की दलील पर ईडी ने जताई आपत्ति
एएसजी राजू ने केरीवाल के वकील की दलील पर आपत्ति जताई और कहा कि अभिषेक मनु सिंघवी की हर दलील गलत है. वहीं, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता का कहना है कि सिंघवी सच्चाई के साथ किफायती हैं.
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