बिहार में AIMIM नेताओं की टारगेट किलिंग, 'लॉ एंड ऑर्डर' हुआ खराब, असदुद्दीन ओवैसी का नीतीश कुमार पर हमला
AIMIM Leader Murder: बिहार के गोपालगंज में सोमवार (12 फरवरी) को AIMIM के नेता अब्दुल सलाम की अज्ञात हमलावरों ने गोली मार कर हत्या कर दी थी. इसको लेकर असदुद्दीन ओवैसी ने नीतीश कुमार पर हमला बोला है.
Asaduddin Owaisi on Bihar AIMIM Leader Murder: ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने बिहार में सोमवार (12 फरवरी) को हुई पार्टी के नेता अब्दुल सलाम की हत्या के मामले में नीतीश कुमार की सरकार को घेरा है. ओवैसी ने आरोप लगाया कि बिहार में कोई कानून-व्यवस्था नहीं है. गोपालगंज में उनकी पार्टी के नेता की सरेआम गोली मारकर हत्या कर दी जाती है और अपराधियों के बारे में सरकार कोई जानकारी नहीं दे रही है.
असदुद्दीन ओवैसी ने बिहार सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य में एक के बाद एक AIMIM नेता को टारगेट किलिंग का शिकार बनाया जा रहा है जोकि बेहद ही दुर्भाग्यपूर्ण है. उन्होंने कहा कि गोपालगंज के हत्याकांड से पहले करीब एक डेढ़ महीने पहले भी सीवान में एक AIMIM नेता (आरिफ जमाल) की हत्या कर दी गई थी.
बीजेपी के साथ सरकार बनाने के बाद भी कानून व्यवस्था खराब
उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि पहले नीतीश कुमार आरजेडी के साथ मिलकर सरकार चला रहे थे और अब बीजेपी के साथ सरकार बनाकर दोबारा प्रदेश के मुख्यमंत्री बने हैं. लेकिन सूबे की कानून व्यवस्था पूरी तरह से अभी भी चरमरायी हुई है. उन्होंने कहा कि किसी की भी सरकार रही, उनके नेताओं को लगातार निशाना बनाया जाता रहा है.
AIMIM सड़कों पर उतरकर करेगी विरोध प्रदर्शन
ओवैसी ने अफसोस जताते हुए कहा कि बिहार सरकार ने अभी तक यह नहीं बताया है कि क्या अपराधी पकड़ा गया है या नहीं? उन्होंने चेतावनी देते हुए यह भी कहा कि यदि बिहार में ऐसा ही चलता रहा तो AIMIM सड़कों पर उतरकर विरोध प्रदर्शन करेगी.
बिहार में @AIMIM_Bihar1 नेता की हत्या और किसानों के धरना प्रदर्शन पर मेरी Press conference pic.twitter.com/EBLY5OFJua
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) February 13, 2024
'किसानों के मुद्दे पर गठित लीगल एक्सपर्ट कमेटी का अता-पता नहीं'
किसान आंदोलन मामले पर ओवैसी ने कहा कि मोदी सरकार की ओर से किसानों के मुद्दे पर 12 जुलाई, 2022 को एक लीगल एक्सपर्ट कमेटी गठित की थी, उसका कोई अता-पता नहीं है. सभी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी वाला कानून बनाना चाहिए और एमएस स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करना चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर मोदी सरकार इस सबको लागू करती है तो उनको ही फायदा होगा. सरकार किसानों को रोकने के लिए कीलें लगवा रही है और बैरिकेडिंग और रोड ब्लॉक करवा रही है.
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