नई दिल्ली: पांच राज्यों (मध्य प्रदेश, राजस्‍थान, छत्तीसगढ़, तेलंगाना और मिजोरम) मेे हुए विधानसभा चुनाव के नतीजों का एलान मंगलवार को होगा. एग्जिट पोल के नतीजों के बाद कल का दिन और दिलचस्प हो गया है क्योंकि कई एग्जिट पोल में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर बताई गई. इन विधानसभा चुनाव के नतीजों को आने वाले लोकसभा चुनाव से पहले का सेमीफाइनल माना जा रहा है. इस लिहाज से बीजेपी और कांग्रेस के लिए नतीजे भविष्य की दिशा और दशा तय कर सकते हैं.


पांच राज्यों के नतीजे आप तक पहुंचाने के लिए ABP न्यूज़ ने किए हैं ये खास इंतज़ाम


बता दें कि जिन 5 राज्यों में मतदान हुए हैं उन पांच राज्यों में से 3 जगह (मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़) बीजेपी की सरकार है जबकि मिजोरम में कांग्रेस और तेलंगाना में विधानसभा भंग होने से पहले TRS की सरकार थी. मंगलवार सुबह 8 बजे से वोटों की गिनती शुरू हो जाएगी. इन चुनावों में इस्तेमाल की गईं 1 लाख 74 हजार ईवीएम में 8500 से ज्यादा उम्मीदवारों की किस्मत कैद है. ये इलेक्ट्रोनिक वोटिंग मशीनें इस समय राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, मिजोरम और तेलंगाना के 670 अति सुरक्षित कक्षों में रखी हैं.



इनके लिए विधानसभा चुनाव है साख का सवाल


शिवराज सिंह चौहान-मध्य प्रदेश


मध्यप्रदेश की सत्ता पर पिछले तीन दशक से काबिज शिवराज सिंह चौहान की प्रतिषठा इस चुनाव में दांव पर लगी है. अगर वह चौथी बार लगातार 'बैटल ऑफ एमपी' के साथ 'बैटल ऑफ बुधनी' जीतते हैं तो न सिर्फ प्रदेश में बल्कि पार्टी में भी उनका कद बड़ा होगा. कांग्रेस ने उनके सामने बुधनी विधानसभा सीट से अरुण यादव को उतारा है.


वसुंधरा राजे-राजस्थान


राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के लिए भी चुनाव साख का सवाल है. वह अपने पारंपरिक सीट झालरापाटन से चुनाव लड़ रही हैं. इस सीट से वह लगातार पांच बार सांसद रही है. इस बार कांग्रेस ने जसवंत सिंह के बेटे मानवेंद्र सिंह को इस सीट से वसुंधरा के खिलाफ उतारा है. झालरापाटन के साथ वसुंधरा के लिए पूरे राजस्थान में बीजेपी की सरकार को एक बार फिर सत्ता में वापसी करवाने की चुनौती है.


रमन सिंह-छत्तीसगढ़


राजनांदगांव विधानसभा सीट से चुनाव लड़ रहे रमन सिंह अपनी जीत को लेकर आश्वस्त हैं. यह मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह सिंह की परंपरागत सीट है और वो इस इस सीट से लगातार तीसरी बार चुनावी मैदान में हैं. पिछले दो चुनावों में रमन सिंह ने इस सीट पर लगातार 30 हजार से ज्यादा मतों से जीत दर्ज की थी.


केसीआर-तेलंगाना


टीआरएस के प्रमुख के चंद्रशेखर राव उर्फ केसीआर आंध्र प्रदेश विभाजन के बाद साल 2014 में गजवेल विधानसभा क्षेत्र से चुनाव जीतते हुए राज्य के मुख्यमंत्री बने थे. इस बार भी केसीआर इस सीट से दोबारा अपनी किस्मत आजमा रहे हैं. केसीआर के मुकाबले में कांग्रेस के प्रताप रेड्डी खड़े हैं. रेड्डी ने पिछला चुनाव टीडीपी की टिकट से लड़ा था और मात्र 19 हजार वोटों से केसीआर से हार गए थे. तब रेड्डी को 67,000 वोट मिले थे, वहीं केसीआर को 86,000 वोट जबकि कांग्रेस को उम्मीदवार को 34,000 वोट मिले थे. इस बार टीडीपी-कांग्रेस साथ है.


पी ललथनहवला-मिजोरम

मिजोरम के मुख्यमंत्री पी ललथनहवला सूबे में बीते 10 सालों से यानी 2008 से ही कांग्रेस के मुख्यमंत्री हैं. उनसे पहले मिजोरम नेशनल फ्रंट के लीडर पु. जोरमथंगा ने भी 10 सालों तक 1998 से 2008 तक सरकार चलाई थी. 10 साल से सत्ता पर काबिज पी ललथनहवला के सामने इस चनाव में जीत की हैट्रिक लगाने की चुनौती होगी. साथ ही कांग्रेस के लिए मिजोरम में जीत इसलिए भी जरूरी है क्योंकि अगर यहां वह हार जाती है तो पूर्वोत्तर के किसी भी राज्य में उसकी सरकार नहीं बचेगी.



यहां जानें विधानसभा चुनाव की काउंटिंग के लिए क्या हैं तैयारियां


राजस्थान विधानसभा चुनाव


राजस्थान विधानसभा चुनाव में वोटों की गिनती के लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गयी हैं और लगभग 20,000 कर्मचारी सुबह आठ बजे से यह काम शुरू करेंगे. मुख्य निर्वाचन अधिकारी आनंद कुमार ने बताया कि राज्य में कुल 35 केंद्रों पर वोटों की गिनती होगी. इनमें से जयपुर और जोधपुर में दो-दो केंद्रों पर तथा बाकी 31 जिलों में एक-एक केंद्र बनाया गया है. राज्य की 200 में से 199 सीटों के लिए मतदान सात दिसंबर को हुआ था.


आनंद कुमार ने कहा कि मतगणना स्थल और उसके आस-पास के क्षेत्र में सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध किए गए हैं. मतगणना स्थल पर प्रवेश के लिए त्रि-स्तरीय सुरक्षा की व्यवस्था की गई है ताकि मतगणना स्थल पर किसी तरह का कोई व्यवधान नहीं आए. आनंद कुमार ने बताया कि मतगणना में निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए निर्वाचन आयोग द्वारा अपनाई जा चुकी ‘मैंडेटरी वैरीफिकेशन‘ पद्धति को भी इस गणना में लागू किया जाएगा. उन्होंने बताया कि लगभग 20,000 कर्मचारी मतगणना के काम में लगे हैं.



2013 में मध्य प्रदेश में कैसा रहा था हाल


2013 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी को कुल 163 सीटें मिलीं थी। इसके अलावा कांग्रेस को 21, बसपा को तीन, एनपीपी को चार एवं निर्दलीय तथा अन्य को नौ सीटें मिलीं थी. हालांकि बीच में हुए उपचुनाव के बाद मौजूदा समय बीजेपी के 160, कांग्रेस के 25, बसपा के दो और एनपीपी के तीन विधायक हैं.


मध्यप्रदेश विधान सभा चुनाव


मध्य प्रदेश विधानसभा की सभी 230 सीटों पर हुए चुनावों के लिये मतगणना मंगलवार को होगी. मतगणना के लिये सुरक्षा के कड़े इंतजाम किये गए हैं. प्रदेश में 28 नवंबर को चुनाव हुए थे. मतदान के बाद आए एग्जिट पोल ने 15 साल से प्रदेश में सत्तारूढ़ बीजेपी एवं मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के बीच कड़ी टक्कर की संभावना व्यक्त की है. हालांकि, दोनों पार्टियां अपनी-अपनी जीत का दावा कर रही हैं.


निर्वाचन आयोग के जनसंपर्क अधिकारी ने बताया कि मध्य प्रदेश विधानसभा की सभी 230 सीटों के लिए 11 दिसंबर को सुबह आठ बजे से मतगणना शुरू होगी. यह मतगणना 51 जिलों में होगी. उन्होंने कहा कि सबसे पहले डाक मतपत्रों की गिनती होगी. अधिकारी ने बताया कि डाक मतपत्रों की गिनती के बाद सुबह साढ़े आठ बजे से ईवीएम के वोटों की गिनती होगी. इस चुनाव में कुल 5,04,95,251 मतदाताओं में से 3,78,52,213 मतदाताओं यानी 75.05 प्रतिशत ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया. मतगणना के साथ ही 1,094 निर्दलीय उम्मीदवारों सहित कुल 2,899 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला हो जाएगा, जिनमें से 2,644 पुरूष, 250 महिलाएं एवं पांच ट्रांसजेंडर शामिल हैं.


छत्तीसगढ़  विधानसभा चुनाव


छत्तीसगढ़ में 90 विधानसभा सीटों के लिए हुए चुनाव में मंगलवार को वाटों की गिनती की जाएगी. इसके साथ ही राज्य में नई सरकार के गठन के लिए रास्ता साफ हो जाएगा. राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय के अधिकारियों ने सोमवार को बताया कि सभी 90 विधानसभा क्षेत्रों के लिए 11 तारीख को सुबह आठ बजे से मतगणना शुरू होगी. मतगणना के लिए 5184 गणनाकर्मी और 1500 माइक्रोऑब्जर्वर नियुक्त किये गये हैं. प्रत्येक हॉल में मतगणना के लिए 14 मेज, रिटर्निंग ऑफिसर मेज और डाक मतपत्रों की गणना की मेज होगी.जिसमें राज्य के 76.60 फीसदी मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया है.


मतदान के लिए सुरक्षा के पुख्ता इतंजाम किए गए हैं. राज्य में बीजेपी और कांग्रेस के बीच ही मुकाबला होता आया है लेकिन इस बार के चुनाव में अजीत जोगी की पार्टी ने बहुजन समाज पार्टी के साथ गठबंधन कर मुकाबले को त्रिकोणीय बना दिया है.


तेलंगाना विधानसभा चुनाव


तेलंगाना विधानसभा चुनाव 7 दिसंबर को हुआ था. तेलंगाना में कुल 119 विधानसभा सीटें हैंं.  बता दें कि केसीआर ने नवंबर में विधानसभा भंग कर दी थी. जिसके बाद राज्य में चुनाव हुए. इस विधानसभा चुनाव 1101 उम्मीदवारों की किस्मत दांव पर लगी है.


मिजोरम विधानसभा चुनाव


मिजोरम विधानसभा चुनाव के लिए 28 नवंबर को मतदान हुए थे. मिजोरम में कुल 40 विधानसभा की सीटें हैं. यहां बहुमत के लिए 21 सीटों की आवश्यकता है. इस समय मिजोरम में कांग्रेस की सरकार है. इस चुनाव में 209 उम्मीदवार चुनावी मैदान में अपनी किस्मत आजमा रहे हैं.


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