Meghalaya Nagaland Voting: 118 सीटें, 550 से ज्यादा उम्मीदवार.. मेघालय, नगालैंड में वोटिंग से पहले जानें A टू Z
Meghalaya Nagaland Assembly Elections: मेघालय और नगालैंड विधानसभा चुनाव के लिए सोमवार (27 फरवरी) को मतदान होगा. 2 मार्च को तीन राज्यों- मेघालय, नगालैंड और त्रिपुरा के नतीजे सामने आएंगे.
Meghalaya Nagaland Assembly Elections 2023: पूर्वोत्तर के दो राज्यों मेघालय (Meghalaya) और नगालैंड (Nagaland) के विधानसभा चुनाव के लिए मतदान का काउंटडाउन शुरू हो गया है. लोकतंत्र के इस पर्व के लिए मंच सज चुका है. कुछ ही घंटों बाद (सोमवार 27 फरवरी को) दोनों राज्यों के मतदाता उम्मीदवारों की किस्मत तय करने के लिए EVM का बटन दबाएंगे.
दोनों राज्यों को मिलाकर कुल 118 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों के लिए मतदान किया जाएगा. मेघालय में 59 और नगालैंड में भी इतनी ही सीटों के लिए वोट डाले जाएंगे. दोनों राज्यों को मिलाकर 550 से ज्यादा उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं. मेघालय, नगालैंड और एक और राज्य त्रिपुरा के लिए मतगणना दो मार्च को होगी. आइये जानते हैं मेघालय-नगालैंड विधानसभा चुनाव का A टू Z.
मेघालय विधानसभा चुनाव 2023
मेघालय में इस बार सभी पार्टियों ने अकेले चुनाव लड़ने का फैसला किया है. 2018 के मुकाबले इस बार बीजेपी और नेशनल पीपुल्स पार्टी (NPP) ने चुनाव पूर्व कोई गठबंधन नहीं किया है. मेघालय के पूर्व मंत्री और यूनाइटेड डेमोक्रेटिक पार्टी (UDP) के उम्मीदवार एचडीआर लिंगदोह के निधन के कारण Sohiong सीट में मतदान टल गया. इसलिए 60 में से 59 सीटों पर मतदान होगा.
इस बार बीजेपी और कांग्रेस ने राज्य में सभी सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं जबकि एनपीपी 57 सीटों पर चुनाव लड़ रही है. तृणमूल कांग्रेस (TMC) ने राज्य में 58 सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं. 2021 में टीएमसी मेघालय में मुख्य विपक्षी पार्टी बन गई थी. तब कांग्रेस के 12 विधायक टीएमसी में आ गए थे. खासकर पूर्व मुख्यमंत्री मुकुल संगमा के इसमें शामिल होने के बाद टीएमसी की ताकत में इजाफा हुआ.
वहीं, 2018 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी महज दो सीटों पर चुनाव लड़ी थी. सबसे ज्यादा 21 उम्मीदवार कांग्रेस ने उतारे थे. एनपीपी ने 20 और यूडीपी ने 6 उम्मीदवारों को चुनाव लड़ाया था.
मेघालय के प्रमुख मुद्दे
- सत्तारूढ़ नेशनल पीपुल्स पार्टी (NPP) सत्ता में वापसी करने की कोशिश कर रही है लेकिन जानकारों का मानना है कि पार्टी को इस बार सत्ता विरोधी लहर का सामना करना पड़ सकता है.
- दूरस्थ और पहाड़ी इलाकों में बुनियादी ढांचे के विकास की कमी इस बार प्रमुख चुनावी मुद्दों में से एक है.
- एनपीपी सरकार को भ्रष्टाचार के आरोपों सता रहे हैं.
- जयंतिया और खासी हिल्स में अवैध कोयला खनन भी एक बड़ा मु्द्दा है, जो चुनाव के नतीजों पर असर डाल सकता है.
- बेरोजगारी एक बड़ा मुद्दा है. सभी पार्टियों ने अपने घोषणापत्रों में नौकरियों और रोजगार के अवसर पैदा करने का वादा किया है.
- मेघालय में इनर लाइन परमिट (ILP) की मांग लंबे समय से की जा रही है. एनपीपी इस मुद्दे को लेकर बीजेपी को घेर चुकी है.
- इनर लाइन परमिट एक सीमित समय के लिए संरक्षित क्षेत्र में एक राष्ट्रीय की आवक यात्रा की अनुमति देने के लिए राज्य सरकार की ओर से जारी एक आधिकारिक यात्रा दस्तावेज होता है.
नगालैंड विधानसभा चुनाव 2023
नागालैंड में मुख्य रूप से मुकाबला नेशनलिस्ट डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी (NDPP) और बीजेपी वाले गठबंधन का राज्य की पूर्व सत्ताधारी पार्टी नगा पीपुल्स फ्रंट (NPF) के साथ है. राज्य की 60 सीटों में से 59 पर मतदान होगा क्योंकि अकुलुतो निर्वाचन क्षेत्र से बीजेपी उम्मीदवार काजेतो किनिमी निर्विरोध जीत गए हैं. उनके प्रतिद्वंद्वी की ओर से रेस से बाहर होने का फैसला लिए जाने के बाद यह संभव हुआ. बीजेपी यहां 20 और एनडीपीपी ने 40 उम्मीदवारों के साथ मैदान में हैं. एनपीएफ 22 और कांग्रेस 23 सीटों पर चुनाव लड़ रही है. दोनों पार्टियां चुनाव बाद गठबंधन के विचार के साथ मैदान में हैं.
नगालैंड के प्रमुख मुद्दे
- नगालैंड में अलग से राज्य बनाने की मांग वर्षों से उठती आई है. इससे पहले ईस्टर्न नगालैंड पीपुल्स ऑर्गनाइजेशन (ENPO) मांग पूरी होने तक चुनाव के बहिष्कार का आह्वान किया था.
- ईएनपीओ ने केंद्र से एक अलग राज्य 'फ्रंटियर नागालैंड' बनाने की मांग थी, जिसमें पूर्वी नागालैंड के छह जिले- त्युएनसांग, मोन, शामतोर, किफिरे, नोक्लाक और लोंगलेंग शामिल हैं.
- राज्य में नेशनल सोशलिस्ट काउंसिल ऑफ नगालैंड (आईएम) और नगा नेशनल पॉलिटिकल ग्रुप्स (NNPG) वाली सात विद्रोही समूहों की एक बड़ी फर्म ने 14 जनवरी को संयुक्त रूप से केंद्र सरकार के साथ हस्ताक्षर वाले समझौतों के आधार पर नगाओं के अधिकारों को हल करने के लिए अपनी प्रतिबद्धता की घोषणा की थी.
- 2015 में विशेष रूप से नगा राजनीतिक मुद्दे को हल करने के लिए NSCN (IM) और केंद्र के नगालैंड रूपरेखा समझौते (Framework of Agreement) पर हस्ताक्षर हुए थे, जबकि 2017 में नगा नेशनल पॉलिटिकल ग्रुप्स ने केंद्र के साथ एक 'सहमत स्थिति' पर हस्ताक्षर किए. तब केंद्र ने कहा था कि वह सभी विद्रोही समूहों के साथ एक ही शांति समझौते पर हस्ताक्षर करेगा. तब से यह राज्य में बड़ा मुद्दा है और हाल के चुनावी अभियानों में कांग्रेस ने भी इसे जोर शोर से उठाया था.
- राज्य में सशस्त्र बल विशेष शक्तियां अधिनियम (AFSPA) लागू है और यह एक बड़ा मुद्दा है. पिछले साल मार्च में गृह मंत्री अमित शाह ने असम, मणिपुर और नगालैंड के कई जिलों में AFSPA को हटाने की घोषणा की थी लेकिन अक्टूबर 2022 में केंद्र ने अरुणाचल और नगालैंड के हिस्सों में इसे छह महीने और बढ़ाने का फैसला लिया. AFSPA 1995 से पूरे नागालैंड में लागू है.
- विधानसभा चुनाव से पहले नागालैंड में भ्रष्टाचार एक और बड़ा मुद्दा बनकर उभरा है. नागालैंड कांग्रेस ने सत्ता में आने पर भ्रष्टाचार को खत्म करने की कसम खाई है जबकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने चुनावी अभियान के दौरान कांग्रेस पर क्षेत्र के विकास की उपेक्षा करते हुए पूर्वोत्तर को अपने एटीएम के रूप में इस्तेमाल करने का आरोप लगाया.
मेघालय चुनाव के जरूरी आंकड़े
- मेघालय में 59 विधानसभा क्षेत्रों के 3,419 मतदान केंद्रों पर वोट डाले जाएंगे. मतदान सुबह सात बजे शुरू होगा और शाम चार बजे तक चलेगा.
- मेघालय के 60 विधानसभा क्षेत्रों में से 36 निर्वाचन क्षेत्र खासी और जयंतिया हिल्स रीजन में आते हैं जबकि 24 गारो हिल्स क्षेत्र में आते हैं.
- मेघालय में 21 लाख से ज्यादा (कुल 21,75,236) मतदाता हैं, जिनमें से 10.99 लाख महिलाएं हैं और 10.68 लाख पुरुष हैं.
- महिला मतदाताओं की संख्या पुरुषों की तुलना में ज्यादा है. वहीं, पहली बार मतदान करने जा रहे वोटरों की संख्या लगभग 81,000 है.
- मेघालय में कुल 369 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं, जिनमें 36 महिलाएं शामिल हैं.
- यहां कुल 3,419 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिनमें 120 पर प्रबंधन का काम केवल महिलाएं संभालेंगी. वहीं, 60 मॉडल 60 पीडब्ल्यूडी मतदान केंद्र बनाए गए हैं.
- मेघालय में सुरक्षा को लेकर चुनाव आयोग ने केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (CAPF) की 119 कंपनियां तैनात की हैं.
- मेघालय के मुख्य निर्वाचन अधिकारी एफआर खारकोंगोर ने कहा है कि 640 मतदान केंद्रों की पहचान 'असुरक्षित', 323 की 'संवेदनशील' और 84 की पहचान दोनों के रूप में हुई है.
नगालैंड चुनाव के जरूरी आंकड़े
- नागालैंड में पात्र मतदाताओं की संख्या 13 लाख से ज्यादा (कुल 13,17,632) है, जिनमें 6,61,489 पुरुष और 6,56,143 महिलाएं हैं. पुरुष मतदाताओं की संख्या महिलाओं से ज्यादा है.
- नगालैंड में कुल 2,351 मतदान केंद्र बनाए गए हैं.
- वोखा जिले में भंडारी विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत मेरापानी मतदान केंद्र नंबर 71 में मतदाताओं की संख्या सबसे कम 37 है.
- चुनाव आयोग के मुताबिक, सुचारू और निष्पक्ष मतदान प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए विभिन्न सुरक्षा बलों की 305 कंपनियों को राज्यभर के मतदान केंद्रों पर तैनात किया गया है.