नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को यूएस-इंडिया स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप फोरम (यूएसआईएसपीएफ) के तीसरे लीडरशिप शिखर सम्मेलन को संबोधित किया. प्रधानमंत्री मोदी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए अपने संबोधन में वैश्विक महामारी कोरोना से बचाव के लिए भारत में किए गए उपायों के बारे में सभी को जानकारी दी.
इस दौरान उन्होंने कहा कि वैश्विक महामारी कोरोना से बचाव के लिए देश में रिकॉर्ड समय में स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ाई गईं हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि कोरोना काल में हमारा लक्ष्य गरीबों की देखरेख करने पर रहा. दुनिया की सबसे बड़ी, प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना संचालित हुई, जिससे 80 करोड़ लोगों को कोरोना काल में मुफ्त भोजन दिया जा रहा है.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि लॉकडाउन की एक उत्तरदायी प्रणाली बनाने में भारत पहले स्थान पर रहा. सार्वजनिक स्वास्थ्य उपाय के रूप में मास्क और फेस कवरिंग की वकालत करने वालों में भी भारत अग्रणी रहा. वहीं सोशल डिस्टैंसिंग के बारे में जनजागरूकता अभियान चलाने वालों में भी हम आगे रहे.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि कोरोना काल में रिकॉर्ड समय में मेडिकल इन्फ्रास्ट्रक्चर को बढ़ाया गया. कोविड अस्पताल, आईसीयू की सुविधाएं बढ़ाई गईं. जनवरी में सिर्फ एक कोविड टेस्टिंग लैब थी, इस समय देश में करीब 16 सौ लैब हैं.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मौजूदा स्थिति मानव केंद्रित विकास की जरूरत पर बल देती है. अब नए माइंड सेट की दरकार है. आगे की राह देखते हुए, हमें अपना ध्यान, अपनी क्षमताओं को बनाए रखने पर केंद्रित रखना चाहिए, गरीबों को सुरक्षित करना चाहिए. इस रास्ते पर भारत चल रहा है.
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