केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि गैर-बीजेपी समर्थक भी वाजपेयी से वाक शैली सीखने के लिए उनकी रैलियों में जाते थे. केंद्रीय मंत्री हर्षवर्धन ने कहा कि उन्होंने अपने ‘गुरु और मार्गदर्शक’ को खो दिया.
उन्होंने कहा कि भारतीय वैज्ञानिक जगत वाजपेयी का शुक्रगुजार है, जिन्होंने पोकरण परमाणु परीक्षण के बाद ‘जय जवान, जय किसान’ के नारे में ‘जय विज्ञान’ जोड़ा. वाजपेयी को श्रद्धांजलि देते हुए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि वर्तमान सरकार पूर्व प्रधानमंत्री के बताये गए मार्ग पर चलने की कोशिश कर रही है.
लोकजनशक्ति पार्टी के प्रमुक रामविलास पासवान ने कहा कि कई लोग पद के कारण जाने जाते हैं लेकिन वाजपेयी के सामने प्रधानमंत्री का पद भी बहुत छोटा लगता था.
बता दें कि स्वास्थ्य संबंधी समस्या की वजह से लगभग एक दशक से सार्वजनिक जीवन से दूर 93 वर्षीय पूर्व प्रधानमंत्री को मूत्र मार्ग में संक्रमण की वजह से 11 जून को अस्पताल में भर्ती कराया गया था. अस्पताल ने कहा, "उन्होंने गुरुवार शाम 5:05 बजे अपनी अंतिम सांस ली."