नई दिल्ली: पूर्व उप-प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी बाबरी मस्जिद ढहाये जाने के मामले की सुनवाई कर रही सीबीआई की विशेष अदालत के सामने आज वीडियो कांफ्रेन्सिंग के जरिये अपना बयान दर्ज कराएंगे. सुनवाई सुबह 11 बजे के करीब शुरु होगी. इससे पहले गुरुवार को बीजेपी नेता मुरली मनोहर जोशी ने अपने बयान दर्ज कराए.


अमित शाह ने की थी लालकृष्ण आडवाणी से मुलाकात


आज होने वाली सुनवाई से पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार को लालकृष्ण आडवाणी से उनके आवास पर जाकर मुलाकात की. जो वकील इस केस में आडवाणी को असिस्ट करेंगे उन वकीलों की टीम के साथ अमित शाह आडवाणी के घर पहुंचे थे. आडवाणी बाबरी मस्जिद विध्वंस मामले के आरोपियों में एक हैं. बाबरी मस्जिद ढहाये जाने के मामले में इस समय आरोपियों के बयान दर्ज किये जा रहे हैं. सभी 32 आरोपियों के बयान सीआरपीसी की धारा 313 के तहत दर्ज हो रहे हैं.


ढांचा विध्वंस मामले में 6 दिसंबर 1992 को दर्ज हुई थी FIR
अयोध्या ढांचा विध्वंस मामले में 6 दिसंबर 1992 को थाना राम जन्मभूमि में एफआइआर दर्ज कराई गई थी. इस मामले में सीबीआइ ने जांच करते हुए 49 आरोपितों के खिलाफ विशेष अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया था. वहीं, आरोपितों में से 17 की मौत हो चुकी है.


छह दिसंबर 1992 को 'कारसेवकों' ने ढहा दी थी मस्जिद
अयोध्या में छह दिसंबर 1992 को 'कारसेवकों' ने मस्जिद ढहा दी थी. उनका दावा था कि मस्जिद की जगह पर राम का प्राचीन मंदिर हुआ करता था. राम मंदिर आंदोलन का नेतृत्व करने वाले लोगों में आडवाणी और जोशी भी शामिल थे. बीजेपी नेता उमा भारती और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह इस मामले में अपने बयान दर्ज करा चुके हैं. विशेष अदालत मामले की रोजाना सुनवाई कर रही है.


31 अगस्त तक मामले की सुनवाई पूरी के निर्देश
सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के अनुरूप उसे 31 अगस्त तक मामले की सुनवाई पूरी कर लेनी है. मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने अदालत में तत्कालीन कांग्रेस सरकार पर आरोप लगाया था कि उसने राजनीतिक प्रतिशोध के कारण उन्हें इस मामले में फंसाया. कल्याण सिंह ने भी तत्कालीन कांग्रेस सरकार पर आरोप लगाया कि उनके खिलाफ लगाये गये आरोप झूठे और निराधार हैं और वह निर्दोष हैं.


पीएम मोदी 5 अगस्त को रखेंगे राम मंदिर की आधारशिला


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 5 अगस्त को अयोध्या में बनने वाले भव्य राम मंदिर की आधारशिला रखेंगे. इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग का बखूबी पालन किया जाएगा. श्री राम जन्मभूमि तीर्थक्षेत्र के कोषाध्यक्ष स्वामी गोविंद देव गिरि ने बुधवार को पुणे में कहा कि शिलान्यास समारोह में 150 आमंत्रितों सहित 200 से अधिक लोग शामिल नहीं होंगे.


स्वामी गोविंद देव गिरि ने कहा कि राम मंदिर के निर्माण की आधारशिला रखने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रामलला के दर्शन करेंगे. साथ ही अयोध्या में हनुमान गढ़ी मंदिर में हनुमान जी की पूजा-अर्चना करेंगे. उन्होंने बताया कि शिलान्यास समारोह में अलग-अलग राज्यों के सभी मुख्यमंत्रियों को भी आमंत्रित किया जाएगा.


अयोध्या में राम जन्मभूमि स्थल पर तीन दिवसीय वैदिक अनुष्ठानों के लिए बड़े स्तर पर तैयारियां की जा रही हैं. अनुष्ठान तीन अगस्त से शुरू होगा और 5 अगस्त को 'भूमि पूजन' के साथ ही समाप्त होगा.


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