दिल्ली: कोरोना सकंट के दौरान मई और जून के महीने में पॉजिटिव मामलों में तेज़ी से उछाल आया था. दिल्ली सरकार ने बेड्स की संख्या बढ़ाने के लिये बैंक्वेट हॉल को भी बेड लगाने के लिए टेकओवर किया था. लेकिन अब दिल्ली सरकार ने इन सभी बैंक्वेट हाल को मुक्त किये जाने का आदेश जारी कर दिया है. सभी सरकारी अस्पतालों और डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट को आदेश दिया गया है कि वो इन बैंक्वेट हॉल से सामान आदि  हटा लें.


दिल्ली के शाहदरा इलाके के एक बैंक्वेट हॉल के मालिक कृष्णा जैन से हमने बात की. कृष्णा जैन के मुताबिक 17 जून को उनके बैंक्वेट हॉल में बेड लगे थे. जिन्हें 20 जुलाई को हटा लिया गया था. आपातकालीन परिस्थिति थी इसलिये बेड लगाए गए थे. कोई मरीज़ नहीं आया था लेकिन इमरजेंसी के लिये सेट अप डला हुआ था. कुल 82 बेड्स लगे थे, जो सरकार की ओर से लगवाए गए थे. क्लीनिंग और सिक्योरिटी गार्ड  देने की व्यवस्था बैंक्वेट हॉल की ओर से की जानी थी.


बैंक्वेट हॉल की मैनेजर स्वाति मनचंदा ने कहा कि बिज़नेस का पूरा सीज़न चला गया. अप्रैल, मई, जून में गर्मी में सबसे ज़्यादा काम होता है लेकिन इस बार कुछ काम नहीं मिला. काफी काम कम हो गया, शादियां कैंसिल हो गई. करीब 80% स्टाफ हमें निकालना पड़ा. नवंबर से अगला सीज़न शुरू हो जायेगा हालांकि अभी तक सरकार की ओर से  गाइडलाइंस नहीं मिली हैं.


TT- बैंक्वेट हॉल दिखाते हुए मालिक से बातचीत है


बैंक्वेट हॉल में चल रही एक रिंग सेरेमनी में परिवार वालो से हमने बात की. उनका कहना था कि सभी सावधानियां बरतते हुए फंक्शन कर रहे हैं. सबने मास्क पहने हुए हैं, सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी कर रहे हैं. आज रिंग सेरेमनी है इसलिए 50 लोगों की संख्या में कर पा रहे हैं लेकिन शादी के फंक्शन के लिये 50 की संख्या बहुत कम है. उम्मीद करते हैं कि सरकार इस नियम में बदलाव करेगी.


दिल्ली सरकार ने जून महीने में 77 बैंक्वेट हॉल टेकओवर किए थे जिससे  11,229 बेड का लगाने का इंतजाम हो सका. इनमें से 8 बैंक्वेट हॉल को सरकारी अस्पतालों के साथ लिंक कर दिया गया था जिनमें 1055 बेड का इंतजाम किया गया था. जब यह इंतजाम किया गया था तब दिल्ली में कोरोना लगातार बढ़ रहा था, लेकिन अब काफी समय से हालात काबू में दिखने के चलते दिल्ली सरकार ने यह फैसला लिया है.


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