नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने केंद्रीय कर्मचारियों को बड़ी राहत दी है. अब राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (NPS) के तहत आने वाले सरकारी कर्मचारियों को सीसीएस नियम 2021 के नियम 10 के तहत दो विकल्प मिलेंगे. सरकार ने कर्मचारी की मृत्यु की स्थिति में पुरानी पेंशन योजना या एनपीएस के तहत संचित पेंशन कोष से लाभ चुनने का विकल्प दिया है.


अगर विकल्प नहीं चुनते तो क्या होगा?


अगर केंद्र सरकार के कर्मचारी इस संबंध में अपना विकल्प नहीं नहीं चुनते हैं तो पहले 15 वर्षों की सेवा के लिए पुरानी पेंशन योजना के तहत लाभ का एक विकल्प मौजूद रहेगा. उसके बाद एनपीएस के तहत डिफ़ॉल्ट विकल्प का लाभ मिलेगा.


वर्तमान में पुरानी पेंशन योजना का डिफॉल्ट विकल्प इन नियमों के अनुसार मार्च 2024 तक प्रचलन में है, भले ही सरकारी कर्मचारी ने 15 साल की अपनी सेवा पूरी कर ली हो.


विकलांगता को लेकर क्या है सीसीएस के नियम


सीसीएस नियमों के मुताबिक, अगर कोई सरकारी कर्मचारी ड्यूटी के दौरान किसी चोट या बीमारी के कारण विकलांगता से पीड़ित हो जाता है और ऐसी विकलांगता के बावजूद सरकारी सेवा में बरकरार रहता है तो उसके एवज में विकलांगता तत्व के लिए विकलांगता पेंशन का एकमुश्त मुआवजा दिया जाता है.


बता दें कि सरकार एनपीएस के स्थान पर CCS पेंशन नियम 1972 की कवरेज प्राप्त करने के लिए केंद्र के कर्मचारियों के लिए एकमुश्त विकल्प का लाभ उठाने की आखिरी तारीख बढ़ा दी है. नई संशोधित तारीख अब 31 मई, 2021 है. यह उन कर्मचारियों के लिए लागू होगी, जो एक जनवरी 2004 से पहले चुने गए थे, लेकिन एक जनवरी 2004 के बाद शामिल हुए.


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