Mamta Banerjee Attacks BJP: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने हिंसा प्रभावित इलाकों में मौजूदा स्थिति को 'शांतिपूर्ण' बताया है. सीएम ने सोमवार (10 अप्रैल) को दावा किया कि एक एनजीओ की ओर से भेजी गई ‘फैक्ट फाइंडिंग टीम’ यहां कानून व्यवस्था की स्थिति को बाधित करने के लिए राज्य का दौरा कर रही है.


पटना हाईकोर्ट के एक पूर्व न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली टीम के अधिकार पर सवाल उठाते हुए बनर्जी ने कहा कि बीजेपी की ओर से आयोजित रामनवमी की रैलियों में लोग हाथों में हथियार लिए हुए थे. इस दौरान ट्रैक्टर चलाए जा रहे थे और उन्हें जानबूझकर उन मार्गों की ओर ले जाया गया, जहां नमाज पढ़ी जा रही थी.


फैक्ट फाइंडिंग टीम का क्या काम है?


टीएमसी चीफ बनर्जी ने कहा, “अभी स्थिति बिल्कुल शांतिपूर्ण है. क्षेत्र में शांति भंग करने के लिए ‘फैक्ट फाइंडिंग टीम’ यहां आई है. इस टीम का क्या काम है? यह क्या करेगी? हर मामले में वे (केंद्र) मानवाधिकार आयोग, महिला आयोग, बाल आयोग और मीडिया आयोग को भेजते हैं.” बहरहाल, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने कहा कि ‘फैक्ट फाइंडिंग टीम’ ने राज्य की स्थिति की ‘असली तस्वीर’ दिखायी है.


ममता का बीजेपी पर हिंसा का आरोप


पश्चिम बंगाल में रामनवमी रैलियों के दौरान हुगली और हावड़ा जिलों के कुछ हिस्सों में हिंसा की घटनाएं हुईं थीं. पुलिस ने पटना हाईकोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश एल. नरसिम्हा रेड्डी के नेतृत्व में ‘तथ्यान्वेषण’ टीम को निषेधात्मक आदेशों का हवाला देते हुए किसी भी हिंसा प्रभावित क्षेत्र का दौरा करने की अनुमति नहीं दी. बनर्जी ने राज्य सचिवालय में कहा, “वे नमाज के वक्त जानबूझकर वहां गए थे. भाजपा समर्थकों ने हथियार ले रखे थे. हथियार लेकर नाच रहे थे. धार्मिक रैलियों में लोग हथियार लेकर क्यों चलेंगे, ट्रैक्टर और बुलडोजर क्यों चलाएंगे? उन्हें अनुमति किसने दी? ये अवैध हैं. ये लोग बाहरी हैं और मुंगेर से लाए गए थे.”


टीएमसी ने एक वीडियो जारी किया था, जिसमें हावड़ा के काजीपाड़ा में कथित रूप से एक रैली में एक व्यक्ति बंदूक लिए दिखा. बाद में पुलिस ने उसे बिहार के मुंगेर से गिरफ्तार किया था.


'बंगाल पुलिस की 'दंगाइयों के साथ मिलीभगत'


‘फैक्ट फाइंडिंग टीम’ ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पश्चिम बंगाल में हिंसा की राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) से जांच कराने की मांग की और आरोप लगाया कि पुलिस प्रशासन की 'दंगाइयों के साथ मिलीभगत’ थी. राजभवन के एक सूत्र ने बताया कि बाद में फैक्ट फाइंडिंग टीम ने राज्यपाल डॉ. सी वी आनंद बोस से मुलाकात की और अपने नतीजों पर एक रिपोर्ट सौंपी.


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