उत्तर प्रदेश विधानसभा (UP Assembly) में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Aaditynath) ने शुक्रवार को नेता प्रतिपक्ष पर पलटवार करते हुए कहा कि हम (विपक्ष) जीतें तो ठीक, बीजेपी जीते तो ईवीएम (EVM) में गड़बड़ी. यह कहना जनादेश का अपमान है. योगी ने कहा कि चूहा बनने की बजाय राष्ट्रवादी बनना ज्यादा श्रेयकर है और मुझे लगता है कि इस बात को हमें ध्यान में रखना होगा. विधानसभा सत्र के पांचवें दिन शुक्रवार को योगी ने राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान अपने संबोधन में राज्य सरकार की उपलब्धियों का जिक्र करते हुए नेता प्रतिपक्ष अखिलेश यादव पर खूब तंज कसा.
नेता सदन ने नेता प्रतिपक्ष को लक्ष्य करते हुए कहा कि आज जब आप समाजवाद की बात करते हैं समाजवाद की जो स्थिति देखते हैं तो लोगों को लगता है कि यह अस्वाभाविक है, अप्राकृतिक है, अमानवीय हो गया है, लोग इसे स्वीकार करने को तैयार नहीं हैं.
रामराज्य का पक्षधर बन गया है पूरा प्रदेश
योगी ने कहा कि सही कहूं तो पूरा प्रदेश राम राज्य का पक्षधर बन गया है. उन्होंने कहा कि राम राज्य कोई धार्मिक व्यवस्था नहीं है. रामराज्य सार्वकालिक, सार्वदेशिक और सार्वभौमिक है. यह काल परिस्थिति से अप्रभावित एक शाश्वत व्यवस्था है जो हर परिस्थिति में कार्य करने की क्षमता रखती है.
योगी ने दावा किया कि कोरोना आए, चाहे जाए प्रदेश की जनता का बाल बांका नहीं होने देंगे. उन्होंने कहा कि हम पर लेबल लगता है कि हम राष्ट्रवादी हैं और इससे हमें गर्व की अनुभूति होती है. मेरा मानना है कि हर व्यक्ति को राष्ट्रवाद से ओतप्रोत होना चाहिए़.
योगी ने कहा कि 'राष्ट्रवाद की भावना से विहीन व्यक्ति की स्थिति चूहे जैसी हो जाती है.' उन्होंने व्यंग्यात्मक लहजे में कहा 'चूहे को देखते हैं न, चूहा जिस घर में रहेगा उस घर का अन्न भी खाएगा और उस घर में होल करके उसकी नींव को भी धंसाने का कार्य करेगा. चूहा बनने की बजाय राष्ट्रवादी बनना श्रेयस्कर है और मुझे लगता है कि इस बात को हमें ध्यान में रखना होगा.'
ईवीएम को लेकर क्या बोले सीएम ?
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्यपाल के अभिभाषण पर हमने नेता प्रतिपक्ष के एक घंटे के भाषण को सुना. मुझे उनकी कुछ बातों पर आश्चर्य हो रहा था. एक व्यक्ति चुनावी सभाओं में बोलता है मीठी-मीठी बातें करता है लेकिन सदन में अगर जमीनी हालात पर बात होती तो बेहतर होता. उन्होंने अखिलेश पर निशाना साधते हुए कहा कि हम जीतें तो अच्छा है, बीजेपी जीत जाए तो ईवीएम में गड़बड़ी, यह कहना जनता-जनार्दन का अनादर है.
अखिलेश ने विधानसभा में कहा था कि ये लोग कैसे चुनाव जीते हैं, हम जानते हैं. उन्होंने राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान अपने संबोधन में बीजेपी सरकार की जमकर आलोचना की थी. राज्यपाल ने 23 मई को विधानसभा सत्र की शुरुआत में समवेत सदन (विधानसभा और विधान परिषद) को संबोधित करते हुए योगी के नेतृत्व वाली पूर्ववर्ती (2017-2022) सरकार की उपलब्धियां गिनाई थीं और मौजूदा सरकार की भावी कार्ययोजना बताई थी.
अखिलेश यादव के लिए क्या बोले सीएम योगी ?
योगी ने नेता प्रतिपक्ष पर हमला बोलते हुए कहा, “मुझे उनके भाषण पर एक बात कहनी है और फिर उन्होंने यह शेर पढ़ा- “नजर नहीं है नजारों की बात करते हैं, जमीं पे चांद सितारों की बात करते हैं. वो हाथ जोड़कर बस्ती को लूटने वाले, भरी सभा में सुधारों की बात करते हैं.” मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि अखिलेश का एक घंटे का भाषण देखेंगे तो महसूस होगा कि जनादेश प्राप्त सरकार के प्रति इस तरह की बातें करना तो जनता-जनार्दन का अनादर है.
उन्होंने कहा, “हमारी सरकार ने 2017 में स्थानीय निकाय के चुनाव संपन्न कराए, जिसमें कोई हिंसा नहीं हुई. 2019 के लोकसभा चुनाव में भी कहीं से हिंसा की कोई खबर नहीं आई. 2021 में पंचायत चुनाव और 2022 में विधानसभा चुनाव भी शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हुए.”
योगी ने एक विद्वान के हवाले से कहा, “अभिमान तब आता है, जब हमें लगता है कि हमने कुछ किया है और सम्मान तब मिलता है, जब दुनिया को लगता है कि आपने कुछ किया है. बीजेपी और उसके सहयोगी दलों को जो जनादेश मिला है, वह उसी सम्मान का प्रतीक है.”
ममता बनर्जी के लिए क्या बोले सीएम ?
उन्होंने विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के दौरे का जिक्र करते हुए कहा कि चुनाव में सपा के समर्थन के लिए पश्चिम बंगाल से एक ‘दीदी’ आई थीं. मुख्यमंत्री ने पश्चिम बंगाल के विधानसभा चुनाव की चर्चा करते हुए कहा कि इस दौरान राज्य की 294 सीटों में से 142 सीटों पर हिंसा की लगभग 12 हजार घटनाएं हुई थीं और यही नहीं 25 हजार बूथ प्रभावित हुए थे.
उन्होंने कहा कि बीजेपी के दस हजार से अधिक कार्यकर्ता आश्रय स्थलों में जाने को मजबूर हो गए थे और 57 कार्यकर्ताओं की निर्मम हत्या कर दी गई थी, जबकि 123 महिलाओं के साथ अमानवीय अत्याचार हुआ था तथा सात हजार मामले दर्ज किए गए थे.
पश्चिम बंगाल को लेकर ये बोले सीएम योगी
मुख्यमंत्री ने कहा, “पश्चिम बंगाल की आबादी उत्तर प्रदेश की आबादी की आधी है. फिर भी उत्तर प्रदेश में चुनाव के दौरान और उसके बाद कोई हिंसा नहीं हुई, यह बेहतरीन कानून-व्यवस्था का एक उदाहरण है.” उन्होंने सवाल किया कि क्या उत्तर प्रदेश में बीजेपी की सरकार न होती तो यह स्थिति संभव होती? योगी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व की सराहना करते हुए कहा, “हमें हमारा नेतृत्व हमेशा एक ही बात के लिए आगाह करता है कि हमारा मिशन केवल सत्ता प्राप्त करना नहीं, बल्कि देशहित में कार्य करना है. भारत ने संसदीय लोकतंत्र को अपनाया है तो उस संसदीय लोकतंत्र की भावनाओं का सम्मान करते हुए हमें आगे बढ़ना होगा.”
मुख्यमंत्री ने कहा, “नेता प्रतिपक्ष ने अच्छा भाषण दिया, पर अपनी सरकार के बारे में कुछ बता दिया होता तो अच्छा होता. लोकसेवा आयोग भर्ती घोटाले की बात कर लेते, सहकारिता भर्ती, जल निगम भर्ती की चर्चा कर लेते, गोमती रिवर फ्रंट घोटाले की चर्चा कर लेते, खनन घोटाले की बात कर लेते, आज भी उनकी सरकार के खनन मंत्री जेल में हैं.” योगी ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष समाजवादी पेंशन घोटाले की चर्चा कर लेते तो अच्छा होता, खाद्यान्न घोटाले की बात कर लेते तो अच्छा होता, लेकिन मीठी-मीठी गप तो बड़ी विचित्र बात है, इसीलिए तो जनता ने सम्मान नहीं दिया.
मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार के कार्यकाल की सिलसिलेवार उपलब्धियां गिनाईं. उन्होंने कहा कि हमें अपने कार्यों के चलते जनता-जनार्दन का आशीर्वाद प्राप्त होता है, जनादेश बीजेपी नेतृत्व के कार्यों के प्रति एक आशीर्वाद है और हम ढिंढोरा पीटकर नहीं कहते कि हमने एक्सप्रेस-वे बना दिया, एयर कनेक्टिविटी (संपर्क) दे दी.
उन्होंने नेता विपक्ष पर तंज कसते हुए कहा कि आपने पलायन का विकल्प चुना तो जनता ने भी आपका पलायन करा दिया, हमने चैलेंज चुना तो हमें जनता ने भी चुना. योगी ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष कहते हैं कि हमलोगों को शौचालय बनाने में महारत है, हां है, हमने बनाये हैं. यह महज शौचालय नहीं हैं, बल्कि नारी गरिमा और सुरक्षा के प्रतीक हैं.
बिजली व्यवस्था पर उन्होंने कहा कि आज गोरखपुर को बिजली मिल रही है तो वही इटावा हारदोई को भी मिल रही है, कोई भेदभाव नहीं किया जा रहा है. योगी ने समाजवादियों के नारे की चर्चा करते हुए कहा कि 'फर्रुखाबादी चूसे गन्ना, एक्सप्रेस वे ले गए खन्ना.....' आप लोग ऐसे नारे लगाते थे, हमको इससे बचना चाहिए, वरिष्ठता का सम्मान करना चाहिए.
उन्होंने कहा कि जनता ने तमाम अफवाहों को दरकिनार कर 37 वर्षों के बाद किसी सरकार को फिर से मौका दिया है और यह सरकार धमाकेदार ढंग से अपना काम कर रही है. उन्होंने कहा कि राज्यपाल ने अपने अभिभाषण में यही तो कहा था. उल्लेखनीय है कि राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में कुल 117 सदस्यों ने हिस्सा लिया, जिसमें सत्ता पक्ष के 67 और विपक्ष के 50 सदस्य शामिल हैं. योगी ने इन सभी के प्रति आभार जताया. उन्होंने राज्यपाल को धन्यवाद देते हुए उनके प्रति आभार प्रकट किया.
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