नई दिल्लीः हरियाणा के पूर्व सीएम भूपेन्द्र हुड्डा ने मंगलवार को 33 सदस्यों वाली कमेटी की बैठक दिल्ली में बुलाई है. इससे पहले 18 अगस्त को भूपेन्द्र हुड्डा ने रोहतक में परिवर्तन रैली की थी जिसमें एक कमेटी की घोषणा की थी जो कि भूपेन्द्र हुड्डा की भविष्य की राजनीति तय करेगी. भूपेन्द्र हुड्डा ने रैली में एलान किया था कि ये कमेटी एक सप्ताह के अंदर अपनी रिपोर्ट देगी कि भूपेन्द्र हुड्डा की भविष्य की राजनीति किस दिशा मे जाएगी.


दरअसल भूपेन्द्र हुड्डा लम्बे समय से प्रदेश अध्यक्ष अशोक तंवर को हटाने की मांग कर रहे है लेकिन रोहतक रैली और हुड्डा खेमे के दिल्ली के नेताओं के दबाव के बावजूद कांग्रेस आलाकमान ने हरियाणा पर अभी कोई फ़ैसला नही लिया है. कांग्रेस के सूत्रों के मुताबिक़ भूपेन्द्र हुड्डा ने रैली में जिस भाषा का प्रयोग कांग्रेस पार्टी को लेकर किया था उससे आलाकमान नाराज़ है.


रैली में हुड्डा ने कहा था, कांग्रेस पार्टी पहले जैसी नही रही, कांग्रेस अपने रास्ते से भटक गयी है और धारा 370 पर हुड्डा परिवार ने सरकार के फ़ैसले का स्वागत किया था. जिसके कारण अब हुड्डा परिवार को लेकर आलाकमान ने अभी तक कोई फ़ैसला नही किया है.


दरअसल भूपेन्द्र हुड्डा विधानसभा चुनाव मे टिकट बंटवारे का हिस्सा बनना चाहते हैं ऐसे में उन्हें प्रदेश अध्यक्ष, सीएलपी नेता या फिर सेन्ट्रल इलेक्शन कमेटी का हिस्सा होना ज़रूरी है लेकिन अभी तक किसी भी प्रस्ताव पर सहमति नही बन पाई है. ऐसे मे कल 33 सदस्यों की कमेटी तय करेगी कि भूपेन्द्र हुड्डा का राजनीतिक भविष्य क्या होगा.


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