पटना: बिहार की राजधानी पटना के अस्पताल इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज में कर्मचारियों से डिक्लेरेशन फ़ॉर्म भरवाकर उनकी वर्जिनिटी पूछे जाने पर विवाद खड़ा हो गया है. हैरानी की बात ये है कि ये सिलसिला पिछले 34 सालों से जारी है. अस्पताल प्रशासन का कहना है कि इस फॉर्म का फॉर्मेट दिल्ली के एम्स से लिया गया है.
पटना के सबसे बड़े अस्पताल इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज यानी IGIMS के फॉर्म की वजह से विवाद खड़ा हो गया है. डिक्लरेशन फ़ॉर्म में कर्मचारियों से उनके वैवाहिक स्थिति के साथ ही साथ वर्जिनिटी के बारे में भी पूछा गया है. हालांकि अस्पताल के अधिकारियों का कहना है कि विवादित फॉर्म का फॉर्मेट एम्स से लिया गया है और उसमें वर्जिन का मतलब वो नहीं है, जो लोग समझ रहे हैं.
बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय भी इस मसले पर गोलमोल जवाब देते रहे लेकिन ये नहीं बता पाए कि फॉर्म में जब अविवाहित लिखा है, तो अलग से वर्जिन लिखने की क्या ज़रूरत थी.