पटना: बीजेपी ने बिहार में बाढ़ के मद्देनजर पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद से 27 अगस्त की की रैली को स्थगित करने का आग्रह किया है. लेकिन आरजेडी प्रमुख ने इस मांग को खारिज कर दिया है. बीजेपी नेता और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी की इस अपील को लालू प्रसाद ने खारिज करते कहा कि वे यह पाठ पढ़ाने के बजाए बताएं कि बांध कैसे टूटे और बाढ़ पीडितों के लिए राहत और बचाव कार्य चलाने में सरकार कथित तौर पर विफल साबित क्यों हुई.


तेज प्रताप, तेजस्वी ने अपने जीवन में नहीं देखा बाढ़: सुशील मोदी


बिहार विधानसभा परिसर में बातचीत करते हुए सुशील मोदी ने कहा कि लालू प्रसाद अपनी रैली को स्थगित कर बाढ़ पीडितों की सेवा में अपना समय लगाएं. उन्होंने कहा कि उनके दोनों बेटे तेज प्रताप यादव और तेजस्वी यादव दिल्ली में पढ़ने की वजह से अपने जीवन में बाढ़ नहीं देखा. वे नहीं जानते कि बाढ़ क्या होता है. कभी राहत कार्य नहीं चलाया. उनके लिए प्रशिक्षण का एक अच्छा अवसर होगा कि वे भी जाकर देखें कि बाढ़ कैसी होती है. कैसे राहत और बचाव कार्य चलाया जाता है क्योंकि लालू जी के 15 साल के शासनकाल के दौरान बाढ़ राहत का कार्य तो चलाया गया नहीं. लोगों को बडी मुश्किल से एक—दो किलोग्राम अनाज मिल जाया करता था. ना एनडीआरएफ और एसडीआरएफ और ना ही मोटर बोट थे. ना कोई जिलाधिकारी जाकर निगरानी करते थे. भगवान भरोसे बाढ़ पीडितों को छोड़ दिया जाता था.


रैली पर करोड़ों खर्च करने के बदले राहत कोष में पैसा दें लालू यादव: सुशील मोदी


सुशील मोदी ने कहा कि संकट की इस घड़ी में बडे पैमाने पर रैली आयोजित करना इतने लंबे समय तक इस प्रदेश का मुख्यमंत्री रहे व्यक्ति को शोभा नहीं देता. बिहार के लोगों के जले पर नमक नहीं छिड़किए बल्कि उनके बीच जाकर उनकी पीड़ा को समझिए और उनकी मदद कीजिए. सुशील मोदी ने कहा कि रैली पर करोडों रुपये खर्च करने के बजाए लालू जी वह राशि बाढ़ पीडितों के लिए दे दें. उन्होंने कहा कि लालू जी ने रैली में 25 लाख लोगों के शामिल होने का दावा किया है और उससे कम लोगों के जुटने पर उनकी फजीहत होगी और वे बहाना करेंगे कि बाढ़ की वजह से लोग नहीं पहुंच सके.


लालू की रैली 'संपत्ति बचाव' रैली है: सुशील मोदी


सुशील मोदी ने आरोप लगाया कि लालू प्रसाद की यह जो रैली है, वह वास्तव में 'संपत्ति बचाव' रैली है. उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने एक हजार करोड़ रुपये से अधिक संपत्ति इकट्ठा कर ली है वे कर्पूरी जी की मूर्ति के पास बैठकर उनकी आत्मा का भी अपमान कर रहे हैं क्योंकि कर्पूरी जी अपनी पूरी जिंदगी में एक मकान भी नहीं बना पाए और यहां 26 साल की उम्र में नेता प्रतिपक्ष 26 से अधिक संपत्ति के मालिक बन गए.


बाढ़ राहत कार्य के लिए एक महीने का वेतन दें आरजेडी और कांग्रेस विधायक: बीजेपी


बीजेपी नेता ने आरजेडी और कांग्रेस के विधायकों से भी अपील की कि वे बाढ़ राहत कार्यों में कम से कम एक महीने का वेतन दें. हमने बीजेपी के सभी विधायकों को इसके लिए निर्देश दिया है और जो मंत्री हैं वे तीन महीने का वेतन आपदा राहत में दें. उन्होंने कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के रैली में भाग लेने की संभावना पर प्रश्न उठाते हुए पूछा कि बाढ़ प्रभावित इलाकों का भ्रमण करने के बजाए उनका आरजेडी की रैली में भाग लेना उचित होगा.


सुशील की इस अपील को खारिज करते हुए लालू ने कहा कि वे हमें पाठ नहीं पढाएं. इस रैली को स्थगित करने से क्या बाढ़ खत्म हो जाएगा.


प्रधानमंत्री का बाढ़ प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वेक्षण 'हवा खोरी': लालू यादव


पटना के दस सर्कुलर रोड स्थित अपनी पत्नी और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के आवास पर पत्रकारों को संबोधित करते हुए लालू ने आरोप लगाया कि आगामी 26 अगस्त को प्रधानमंत्री का दौरा आरजेडी की अगले दिन की रैली को विफल करने की मंशा से रखा गया है. उन्होंने कहा कि महागठबंधन सरकार के दौरान पिछले साल प्रधानमंत्री ने बिहार के बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा क्यों नहीं किया. प्रधानमंत्री का बाढ़ प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वेक्षण 'हवा खोरी' के अलावा कुछ नहीं. संवेदनशील होते तो सड़क होते हुए घूमते और बाढ़ की स्थिति की समीक्षा करते.


लालू ने पूछा कि केंद्र के कोई मंत्री और केंद्र में सत्तासीन दलों के सांसद क्या बाढ़ प्रभावित की सुध लेने आए. उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी पर 'राम भरोसे' बाढ़ पीड़ितों को छोड देने का आरोप लगाते हुए कहा कि जून के पहले करोड़ों रुपये बांध की मरम्मती पर खर्च किया गया फिर भी बांध कैसे टूट गए.