Ganesh Visarjan: मुंबई में गणेश विसर्जन के दौरान जमा हुए 5.49 लाख किलो निर्माल्य को (फूल और माला) बृहन्मुंबई नगर निगम (BMC) खाद बनाएगी. हर साल गणेश विसर्जन के दौरान मुंबई के समुद्र तटों और कुत्रिम तलाबों में लाखों की संख्या में फूल और मालाएं जमा हो जाती हैं. निर्माल्य का सही से उपयोग नहीं किया जाए तो इससे प्रदूषण और गंदगी बढ़ सकती है. इसको देखते हुए ही बीएमसी ने निर्माल्य को खाद में बदलने का निर्णय लिया है.
साल 2020 -2021 की तुलना में इस साल निर्माल्य में ढाई लाख किलो की बढ़ोतरी हुई है. गणेश भक्तों ने दो साल बाद राज्य में धूम धाम से गणेश उत्सव मनाया है, इसलिए इस साल फूल-मालाओं में इजाफा हुआ है.
खाद कैसे बनेगा?
- खाद बनाने के लिए सबसे पहले फूल-मालाओं को धूप में सुखाने के बाध उसमें केंचुओं को डाला जाएगा.
- केंचुआ द्वारा फूल-मालाएं खाने के बाद उसके मल को सुखाने के बाद फिर प्रोसेसिंग करके उसे खाद में बदला जाएगा.
- इस प्रक्रिया में एक महीना तक लग जाता है.
किधर से सबसे ज्यादा फूल और मालाएं मिली?
गणेशोत्सव के दौरान सबसे अधिक फूल-मालाएं 77, 825 किलोग्राम भांडुप से जमा की गईं. अंधेरी पश्चिम में 59,500 किलोग्राम, बोरीवली से 55,700 क्रिलोग्राम, बांद्रा में 46,280 किलोग्राम और कुर्ला में 45,450 किलोग्राम मिला है.
पिछले साल क्या प्रतिबंध थे
- सार्वजनिक पंडालों में मूर्ति लाने और विसर्जन के लिए ले जाते समय दस से अधिक लोग मौजूद नहीं हो सकते थे.
- घर में गणेश भगवान की मूर्ति लाने और विसर्जन के लिए ले जाते समय पांच लोग ही शामिल हो सकते थे.
- सभी भक्तों का मास्क पहनना अनिवार्य था.
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