Sandeshkhali Case: CBI ने जारी कर दी ई-मेल आईडी, बोले- संदेशखाली के पीड़ित बिना डरे करें शिकायत
Calcutta High Court: कलकत्ता हाई कोर्ट ने सीबीआई को निर्देश दिया कि वह संदेशखालि में महिलाओं के खिलाफ अपराध और जमीन हड़पने के आरोपों की जांच करे. इस मामले की अगली सुनवाई 2 मई को होगी.
Sandeshkhali Case: केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने एक ई-मेल आईडी जारी की है, जिस पर पश्चिम बंगाल के संदेशखाली में जमीन पर कब्जा किए जाने के मामले में पीड़ित अपनी शिकायतें दर्ज करा सकते हैं. अधिकारियों ने गुरुवार को यह जानकारी दी. सीबीआई ने बुधवार (10 अप्रैल) को कलकत्ता हाई कोर्ट के आदेशों के अनुपालन में ई-मेल आईडी जारी की है.
'ई-मेल आईडी को लेकर जिलाधिकारी करें प्रचार'
सीबीआई के प्रवक्ता ने एक बयान में कहा, ‘‘उत्तर 24 परगना के जिलाधिकारी से भी अनुरोध किया गया है कि वे इलाके में संबंधित ई-मेल आईडी के बारे में प्रचार करें और माननीय हाई कोर्ट के आदेश के अनुसार क्षेत्रों में व्यापक प्रसार वाले स्थानीय अखबारों में एक सार्वजनिक सूचना भी जारी करें.’’
सूत्रों ने कहा कि सीबीआई प्राप्त शिकायतों के आधार पर मामले दर्ज करना शुरू करेगी. हाई कोर्ट ने बुधवार को संदेशखाली में महिलाओं के खिलाफ अपराध और भूमि कब्जा करने के आरोपों की अदालत की निगरानी में सीबीआई जांच का आदेश देते हुए कहा कि न्याय के हित में निष्पक्ष जांच आवश्यक है.
2 मई को होगी अगली सुनवाई
कोर्ट ने सीबीआई को राजस्व रिकॉर्ड का गहन निरीक्षण और कथित रूप से भू-उपयोग परिवर्तन का निरीक्षण करने के बाद एक व्यापक रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया. कोर्ट ने सुनवाई की अगली तारीख दो मई को सीबीआई को रिपोर्ट दाखिल करने के लिए कहा है.
राज्य सरकार को सीबीआई को आवश्यक सहायता प्रदान करने का निर्देश दिया गया. एजेंसी पहले से ही संदेशखाली में ईडी के अधिकारियों पर तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के निलंबित नेता शाहजहां शेख की ओर से कथित तौर पर उकसाई गई भीड़ की ओर से किए गए हमलों से संबंधित तीन मामलों की जांच कर रही है.
चीफ जस्टिस टीएस शिवज्ञानम की अगुवाई वाली खंडपीठ ने कहा कि जांच अदालत की निगरानी में की जाएगी. साथ ही, उन्होंने सीबीआई को राजस्व रिकॉर्ड का गहन निरीक्षण और कथित रूप से भू-उपयोग परिवर्तन का निरीक्षण करने के बाद एक व्यापक रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया. कोर्ट ने सीबीआई को निर्देश दिया कि वह संदेशखालि में महिलाओं के खिलाफ अपराध और जमीन पर कब्जा करने के आरोपों की जांच करे और सुनवाई की अगली तारीख पर एक व्यापक रिपोर्ट पेश करे.