INX Media Case: पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम को राहत नहीं, कल तक बढ़ाई गई CBI रिमांड
आज सुप्रीम कोर्ट ने पी. चिदंबरम को अंतरिम संरक्षण के लिए निचली अदालत का दरवाजा खटखटाने के लिए कहा था. लेकिन अदालत ने जमानत देने के बजाए रिमांड की अवधि एक दिन बढ़ा दी.
नई दिल्ली: आईएनएक्स मीडिया मामले में पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम की रिमांड एक दिन बढ़ाई गई है. अब चिदंबरम कल शाम 4 बजे तक सीबीआई रिमांड में रहेंगे. सोमवार को दिल्ली की एक निचली अदालत में सीबीआई ने चिदंबरम को किसी भी तरह की राहत दिये जाने का विरोध करते हुए उनकी हिरासत की अवधि एक दिन और बढ़ाने की मांग की थी, जिसे विशेष जज अजय कुमार कुहाड़ ने स्वीकार कर लिया.
आज कांग्रेस नेता को तीन दिन की सीबीआई हिरासत अवधि खत्म होने के बाद अदालत में पेश किया गया था. चिदंबरम की तरफ से वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल अदालत में पेश हुए. उन्होंने अंतरिम जमानत की याचिका पेश की, लेकिन अदालत ने जमानत देने के बजाए रिमांड की अवधि एक दिन बढ़ा दी. आपको बता दें कि चिदंबरम को 21 अगस्त की रात को गिरफ्तार किया गया था.
दरअसल, आज सुप्रीम कोर्ट ने पी. चिदंबरम को अंतरिम संरक्षण के लिए निचली अदालत का दरवाजा खटखटाने के लिए कहा था. साथ ही आदेश दिया था कि उन्हें तिहाड़ जेल नहीं भेजा जाए और अगर ट्रायल कोर्ट उनकी जमानत याचिका खारिज करता है, तो उनकी सीबीआई हिरासत गुरुवार तक बढ़ाई जाएगी.
हालांकि चिदंबरम के लिये अंतरिम जमानत के आग्रह पर विचार करने के निचली अदालत को आदेश के चंद घंटों बाद ही शीर्ष अदालत ने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता के अनुरोध पर इसमें संशोधन कर दिया. जस्टिस आर भानुमति और जस्टिस ए एस बोपन्ना की पीठ ने कहा कि सॉलिसिटर जनरल के अनुरोध पर विचार किया गया है और इस मामले में अब गुरुवार की जगह मंगलवार को सुनवाई की जायेगी.
क्या है मामला? आईएनएक्स मीडिया प्रकरण में सीबीआई ने 15 मई 2017 को दर्ज एक एफआईआर में आरोप लगाया था कि 2007 में वित्त मंत्री चिदंबरम के कार्यकाल में आईएनएक्स मीडिया समूह को विदेश से 305 करोड़ का निवेश प्राप्त करने के लिये एफआईपीबी की मंजूरी देने में अनियमिततायें की गयीं. जांच ब्यूरो की एफआईआर के बाद ईडी ने भी 2017 में मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया था.
दिल्ली हाई कोर्ट ने सीबीआई और ईडी के मामलों में चिदंबरम की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी. चिदंबरम ने दोनों ही आदेशों को शीर्ष अदालत में चुनौती दी थी. लेकिन चूंकि इसके बाद चिदंबरम की गिरफ्तारी हो गयी थी, इसलिए न्यायालय ने सीबीआई के मामले में दायर अपील को निरर्थक करार देते हुये उसका निस्तारण कर दिया था.
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